नयी दिल्ली 08 अगस्त (वार्ता) राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी को आज यहाँ देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से अलंकृत किया। उनके अलावा समाजसेवी नानाजी देशमुख और संगीतकार एवं गीतकार भूपेन हजारिका को मरणोपरांत इस अलंकरण से सम्मानित किया गया।
राष्ट्रपति भवन में एक आकर्षक समारोह में श्री कोविंद ने प्रशस्ति पत्र तथा अलंकरण पदक प्रदान किये। सत्तरवें गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर 25 जनवरी को इन तीनों विभूतियों को भारत रत्न से विभूषित करने की घोषणा की गयी थी।
करीब 10 मिनट तक चले इस समारोह में सबसे पहले नानाजी देशमुख की ओर से दीनदयाल शोध संस्थान के अध्यक्ष वीरेंद्र जीत सिंह ने प्रशस्ति पत्र और अलंकरण पदक ग्रहण किया। इसके बाद श्री हजारिका की ओर से उनके बेटे तेज हजारिका ने प्रशस्ति पत्र और अलंकरण पदक ग्रहण किया।
श्री मुखर्जी का नाम पुकारे जाने पर उन्होंने सम्मान ग्रहण करने के लिए जाते समय अगली पंक्ति बैठे उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तथा अन्य गणमान्य अतिथियों का अभिवादन किया। श्री कोविंद ने उन्हें प्रशस्ति पत्र प्रदान किया और अंलकरण पदक पहनाया। इसके बाद श्री मुखर्जी ने एक-एक कर अगली पंक्ति में बैठे श्री नायडू, श्री मोदी, पूर्व उपप्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, गृह मंत्री अमित शाह, पूर्व कैबिनेट मंत्री मुरली मनोहर जोशी और भारतीय जनता पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष जे.पी. नड्डा से एक-एक कर हाथ मिलाया।
समारोह में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर, विधि एवं न्याय मंत्री रविशंकर प्रसाद, संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी, खेल मंत्री किरेन रिजिजू, संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल, गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय, वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर, थल सेना प्रमुख जनरल विपन रावत, नौसेना प्रमुख एडमिरल कर्मबीर सिंह और सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री थावरचंद गहलोत तथा लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी वहाँ उपस्थित थे।
अजीत,अभिनव
जारी वार्ता