राज्य » जम्मू-कश्मीरPosted at: Jul 21 2020 6:19PM प्राचीन शारिका भवानी मंदिर पहुंची छड़ी मुबारक
श्रीनगर 21 जुलाई (वार्ता) जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर में मँगलवार को भगवान शिव की पवित्र चांदी की छड़ी (छड़ी मुबारक) को श्रवण शुक्ल पक्ष प्रतिपदा के अवसर पर देवी को श्रद्धा सुमन अर्पित करने के लिए शहर में प्राचीन शारिका भवानी मंदिर लाया गया।
दक्षिण कश्मीर के हिमालय पर्वतों में अमरनाथ गुफा मंदिर के लिए वार्षिक तीर्थ यात्रा से जुड़ी सदियों पुरानी परंपराओं के अनुसार चांदी की छड़ी को लाया गया। इस दौरान की गयी पूजा-अर्चना में वैश्विक महामारी कोरोना वायरस के कारण कुछ ही साधुओं ने भाग लिया। यह पूजा करीब एक घंटे से अधिक चली।
इससे पहले सोमवार को श्रीनगर के शंकराचार्य मंदिर में अमरनाथ यात्रा से संबंधित पूजा-अर्चना की गयी।
छड़ी मुबारक के संरक्षक महंत दीपेंद्र गिरी ने साधुओं के एक समूह से शंकराचार्य मंदिर के लिए शहर के बडशाह चौक क्षेत्र में अमरेश्वर मंदिर, अखाड़ा भवन से छड़ी ली। उन्होंने कहा कि छड़ी मुबारक को तीन अगस्त को पवित्र अमरनाथ गुफा ले जाने से पहले यात्रा से संबंधी सभी परंपराओं का पालन किया जाएगा।
इसके बाद महंत दीपेंद्र गिरी छड़ी मुबारक को हरी पर्वत पर स्थित पुराणिक शारिका भवानी मंदिर ले गए जहां हजरत महबूब-उल-आलम का मंदिर भी पहाड़ी के दूसरी ओर और गुरुद्वारा चट्टीबदशाही शहर की तलहटी में स्थित है। पुरानी परंपराओं के अनुसार ही महंत गिरी और अन्य साधुओं ने श्रवण शुक्ल पक्ष प्रतिपदा के अवसर पर देवी की पूजा-अर्चना की।
उन्होंने हरी पर्वत पर स्थित शारिका भवानी मंदिर पर से निकलने से पहले मीडिया से बातचीत में कहा कि इस वर्ष कोरोना महामारी के कारण पूरा विश्व प्रभावित हुआ है और इसकी वजह से केवल कुछ ही श्रद्धलुओं को यात्रा पर जाने की अनुमति दी जायेगी।
श्रीनगर के दशनामी अखाडा में 25 जुलाई को नाग-पंचमी के अवसर छड़ी पूजन करने के बाद महंत गिरी पवित्र चांदी की छड़ी को श्रवण-पूर्णिमा के मौके पर पवित्र अमरनाथ गुफा में दर्शन के लिए ले जाएंगे।
जतिन.संजय
वार्ता