खेलPosted at: Jul 14 2018 6:03PM मैराथन निर्णायक सेट रोकने के लिये टाईब्रेक की उठी मांग
लंदन, 14 जुलाई (वार्ता) अमेरिका के जॉन इस्नर और दक्षिण अफ्रीका के केविन एंडरसन के बीच विंबलडन टेनिस चैंपियनशिप के सेमीफाइनल में दो घंटे 55 मिनट तक चले निर्णायक सेट के बाद अब फिर से यह मांग उठी है कि निर्णायक सेट में भी टाईब्रेक की अनुमति दी जाए।
ग्रैंड स्लेम और अन्य टूर्नामेंटों में निर्णायक सेट में 6-6 की बराबरी के बाद यह नियम रहता कि जो खिलाड़ी लगाातर दो गेम जीतेगा वह मैच विजेता होगा। इन टूर्नामेंटों में निर्णायक सेट में टाईब्रेक का नियम लागू नहीं होता है। इस्नर और एंडरसन के बीच पांचवें सेट का फैसला 26-24 पर जाकर हुआ जिसे एंडरसन ने जीतकर पहली बार विंबलडन के फाइनल में प्रवेश किया।
यह मैच मैराथन संघर्ष में छह घंटे 36 मिनट तक चला जिसमें निर्णायक सेट का फैसला ही दो घंटे 55 मिनट में जाकर हुआ। एंडरसन ने इससे पहले गत चैंपियन रोजर फेडरर के खिलाफ भी पांच सेट का मैच खेला था जो चार घंटे 14 मिनट तक चला था। इस मैच में पांचवें सेट का फैसला टाईब्रेक से हुआ था जिसे एंडरसन ने 13-11 से जीता था।
एंडरसन और इस्नर के बीच पांचवां सेट थमने का नाम नहीं ले रहा था और एक समय जब इस्नर अपनी कुर्सी पर आकर बैठे और उन्होंने अंपायर मारिजा सिसाक की ओर ऐसी नज़रों से देखा मानो वह कह रहे हों कि क्या हम टाईब्रेक नहीं खेल सकते।