मनोरंजनPosted at: Aug 14 2019 11:41AM वर्ष 1952 में प्रदर्शित फिल्म ..आनंद मठ .. का गीताबाली पर लता मंगेशकर की आवाज में फिल्माया गीत..वंदे मातरम.. आज भी दर्शकों और श्रोताओं को अभिभूत कर देता है । इसी तरह ..जागृति मे .हेमंत कुमार के संगीत निर्देशन में मोहम्मद रफी की आवाज में रचा बसा यह गीत ..हम लाये है तूफान से कश्ती निकाल के ..श्रोताओं मे देशभक्ति की भावना को जागृत किये रहता है । आवाज की दुनिया के बेताज बादशाह मोहम्मद रफी ने कई फिल्मों में देशभक्ति से परिपूर्ण गीत गाये है। इन गीतों में कुछ है ..ये देश है वीर जवानो का .वतन पे जो फिदा होगा अमर वो नौजवान होगा अपनी आजादी को हमहरगिज मिटा सकते नही .उस मुल्क की सरहद को कोई छू नही सकता जिस मुल्क की सरहद की निगाहबान है आंखे .आज गा लो मुस्कुरा लो महफिले सजा लो.हिंदुस्तान की कसम ना झुकेंगे सर वतन के नौजवान की कसम .मेरेदेशप्रेमियो आपस में प्रेम करो देशप्रेमियो आदि। कवि प्रदीप की तरह ही प्रेम धवन भी ऐसे गीतकार के तौर पर याद किये जाते हैं जिनके ऐ मेरे प्यारे वतन .मेरा रंग दे बसंती चोला .ऐ वतन ऐ वतन तुझको मेरी कसम जैसे देशप्रम की भावना से ओत प्रोत गीत आज भी लोगो केदिलो दिमाग मे देश भक्ति के जज्बे को बुलंद करते है। फिल्म काबुली वाला में पाश्र्वगायक मन्ना डे की आवाज में प्रेमधवन का रचित यह गीत ..ए मेरे प्यारे वतन ऐ मेरे बिछड़े चमन आज भी श्रोताओं की आंखो को नम कर देता है। इन सबके साथ वर्ष 1961 में प्रेम धवन की एक और सुपरहिट फिल्म ..हम हिंदुस्तानी .. प्रदर्शित हुयी जिसका गीत ..छोड़ो कल की बाते कल की बात पुरानी ..सुपरहिट हुआ।प्रेम, प्रियंका जारी वार्ता