नयी दिल्ली, 09 नवंबर (वार्ता) कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा है कि अयोध्या मामले में उच्चतम न्यायालय ने अपना फैसला दे दिया है और अब देशवासियों को इसका सम्मान करते हुए परस्पर सौहार्द और सद्भाव बनाए रखकर अपनी समृद्ध परंपरा का निर्वहन करना है।
अयोध्या मामले में मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ के फैसले के बाद श्री गांधी ने ट्वीट किया, “उच्चतम न्यायालय ने अयोध्या मुद्दे पर अपना फैसला सुना दिया है। न्यायालय के इस फैसले का सम्मान करते हुए हम सब को आपसी सद्भाव बनाए रखना है। ये वक्त हम सभी भारतीयों के बीच बन्धुत्व, विश्वास और प्रेम का है।”
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा है कि सभी पक्षों के लोगों को इस फैसले को मानना चाहिए। उन्होंने कहा, “अयोध्या मुद्दे पर भारत की सर्वोच्च अदालत ने फैसला दिया है। सभी पक्षों, समुदायों और नागरिकों को इस फ़ैसले का सम्मान करते हुए हमारी सदियों से चली आ रही मेलजोल की संस्कृति को बनाए रखना चाहिए। हम सबको एक होकर आपसी सौहार्द और भाईचारे को मजबूत करना होगा।”
सुन्नी वक्फ बोर्ड के वकील तथा कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने कहा है कि अयोध्या मामले में उच्चतम न्यायालय का फैसला सबको मानना चाहिए। उन्होंने कहा कि न्यायालय का निर्णय सबको स्वीकार होना चाहिए लेकिन यह भी कहा कि आस्था के आधार पर फैसला नहीं लिया जा सकता। न्यायालय का फैसला देश की एकता को दिखाता है और देश के सभी नागरिकों को इसका सम्मान करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि न्यायालय के फैसले पर कुछ लोग असहमत हो सकते हैं और लोकतांत्रिक देश में यह स्वाभाविक है लेकिन फैसला सबको स्वीकार होना चाहिए। मंदिर निर्माण के लिए ट्रस्ट सरकार बनाएगी और उसमें किसको रखना है इस बारे में फैसला अब उसे ही लेना है। यह मामला संसद में भी आएगा और कांग्रेस पार्टी वहां इस पर चर्चा कर अपनी बात रखेगी।
अभिनव, रवि
वार्ता