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झांसी: कोरोना वैक्सीन की सुरक्षा व टीकाकरण को लेकर दिया गया प्रशिक्षण

झांसी: कोरोना वैक्सीन की सुरक्षा व टीकाकरण को लेकर दिया गया प्रशिक्षण

झांसी 19 दिसम्बर (वार्ता) कोरोना वैक्सीन के जल्दी ही आने की संभावनाओं के बीच उसे सुरक्षित रखने और टीकाकरण के लिए उत्तर प्रदेश के झांसी में चिकित्सा प्रभारियों और ब्लॉक स्तरीय अधिकारियों के लिए शनिवार को प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया।

यहां मेडिकल कॉलेज के प्रशिक्षण केंद्र पर आयोजित कार्यक्रम में मास्टर ट्रेनर डॉ. रविशंकर ने बताया कि चिकित्सा प्रभारियों व ब्लॉक स्तरीय अधिकारियों को वैक्सीन की सुरक्षा और सुरक्षित टीकाकरण के बारे में प्रशिक्षण दिया गया। वैक्सीन के रखरखाव व कोविन एप पर आंकड़ा रखने के बारे में भी बताया गया। टीकाकरण सत्र स्थल पर तीन कमरों का होना आवश्यक है। पहला कमरा वेटिंग रूम होगा, जहां लाभार्थी टीकाकरण का इंतेजर करेगा, दूसरा टीकाकरण कक्ष होगा जहां टीका लगाया जाएगा, वही तीसरा ओब्जर्वेशन रूम होगा जहां टीका लगने के बाद लाभार्थी को आधे घंटे तक रोका जाएगा। टीकाकरण की लाइव रिपोर्टिंग के लिए कोविन एप बनाया गया है। जिसपर टीकाकरण स्थल पर ही जानकारी दर्ज की जाएगी। इस एप में जिनको टीका लगना है उसकी जानकारी पहले से ही दर्ज होगी।

ट्रेनर डॉ. रामानन्द ने वैक्सीन मैनेजमेंट एवं सेफ इंजेक्शन प्रेक्टिस के बारें में बताया। साथ ही बताया कि जिला स्तर पर टास्क फोर्स का गठन कर लिया गया है, अब ब्लॉक स्तर पर भी टास्क फोर्स का गठन करना है। एक बार में एक केंद्र पर सिर्फ 100 लोगों का ही टीकाकरण किया जाएगा। जिन लाभार्थियों के नाम एप में होंगे उन्हीं का टीकाकरण किया जाएगा।

स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी डॉ. विजयश्री शुक्ला ने बताया कि चार चरणों में अंकित लोगों का ही टीकाकरण किया जाएगा। पहले चरण में हाई रिस्क वाले यानी सभी स्वास्थ्य कर्मियों को वैक्सीन लगाई जाएगी। दूसरे चरण में उन सरकारी अधिकारियों, कर्मचारियों का टीकाकरण होगा, जो कोरोना संक्रमण के दौर में चिकित्सीय सेवाओं में सहयोगी की भूमिका में रहे। तीसरे चरण में 50 साल के ऊपर के लोगों को वैक्सीन दी जाएगी और चौथे चरण में 50 साल से कम उम्र के उन लोगों का टीकाकरण किया जाएगा जो किसी बीमारी से ग्रसित है।

महामारी विशेषज्ञ डॉ. अनुराधा ने बताया कि टीकाकरण के लिए एक दिन पहले लाभार्थी के पास फोन पर संदेश जाएगा, वह अपनी एक आईडी के साथ संदेश में दिये पते पर जाना है। वहाँ एएनएम उनकी पुष्टि करेंगी और उसके बाद ही टीका लगाया जाएगा। सभी जगह एक टीम होगी जो टीकाकरण के बाद प्रतिकूल घटनाओं पर नजर रखेंगी। जनपद पर एईएफआई कमिटी का गठन कर लिया गया है।

प्रशिक्षण में एसएमओ डॉ. जूही, वीसीसीएम गौरव वर्मा, डीडीएम आदित्य प्रकाश मौजूद रहे।पहले चरण के लिए चिह्नितस्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी, डॉक्टर्स, नर्स, टेक्नीशियन, वार्ड ब्वॉय, अन्य कर्मचारी, एएनएम, आशा कार्यकर्ता, एमपीडब्ल्यू कर्मी, सुपरवाइजर, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिका पंजीकृत निजी अस्पतालों के कर्मचारियों के अलावा क्लीनिक के डॉक्टर, स्टाफ और संचालकों की जानकारी अपलोड की गई है।

सोनिया

वार्ता

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