नयी दिल्ली, 21 अगस्त (वार्ता) राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और खेल मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने इंडोनेशिया के जकार्ता में 18वें एशियाई खेलों में मंगलवार को पदक जीतने वाले भारतीय निशानेबाज़ों को बधाई दी है।
भारत के 16 साल के युवा निशानेबाज़ सौरभ चौधरी ने पुरूषों की 10 मीटर एयर पिस्टल स्पर्धा में ऐतिहासिक प्रदर्शन करते हुये देश के लिये स्वर्ण पदक हासिल किया जबकि इसी स्पर्धा में अभिषेक वर्मा ने कांस्य पदक और अनुभवी संजीव राजपूत ने 50 मीटर राइफल थ्री पोजिशन स्पर्धा में रजत पदक जीता।
श्री कोविंद ने ट्वीट कर कहा,“हमारे निशानेबाज़ों ने लक्ष्य पर सटीक निशाना लगाया। यह जानकर बहुत प्रसन्नता हुयी कि एशियाई खेलों में सौरभ चौधरी और अभिषेक वर्मा ने क्रमशः पुरूषों की 10 मीटर एयर पिस्टल स्पर्धा में स्वर्ण और कांस्य पदक जीता है। हमें आप पर गर्व है।”
श्री मोदी ने ट्वीट कर कहा, “16 वर्षीय सौरभ चौधरी ने हमारे युवाओं के अद्भुत साहस और क्षमता का वर्णन किया है। इस असाधारण युवा को पुरूषों की 10 मीटर एयर पिस्टल स्पर्धा में स्वर्ण घर लाने पर बधाई।”
प्रधानमंत्री ने पुरूषों की 10 मीटर एयर पिस्टल स्पर्धा में ही कांस्य पदक जीतने वाले अभिषेक वर्मा के अलावा 50 मीटर राइफल थ्री पोजिशन स्पर्धा में रजत पदक जीतने वाले अनुभवी संजीव राजपूत को भी बधाई दी है।
श्री मोदी ने संजीव राजपूत को बधाई देते हुए ट्वीट कर कहा,“पुरूषों की 50 मीटर राइफल थ्री पोजिशन स्पर्धा में रजत पदक जीतने वाले संजीव राजपूत की प्रशंसा। आपको यह जानकर प्रसन्नता होगी कि 2006 के एशियाई खेलों से ही संजीव भारत का नाम रोशन कर रहे हैं। उनकी निरंतरता और प्रतिबद्धता सराहनीय है।” उन्होंने टि्वटर पर भारत को पदक दिलाने वाले तीनों निशानेबाज़ों के फोटो भी पोस्ट किए।
राठौड़ ने भी सौरभ चौधरी को बधाई देते हुए ट्वीट किया,“16 साल, पहले एशियाई खेल और एक स्वर्ण पदक! अद्भुत प्रतिभाशाली सौरभ चौधरी ने अपनी उपस्थिति दर्ज करा दी है। बहुत बढ़िया नौजवान। हमें आप पर गर्व है।” कर्नल राठौड़ ने अभिषेक वर्मा और संजीव राजपूत को भी बधाई दी है।
भारत के एकमात्र ओलम्पिक व्यक्तिगत स्वर्ण पदक विजेता निशानेबाज अभिनव बिंद्रा ने भी ट्वीट कर सौरभ को बधाई दी है। बिंद्रा ने ट्वीट कर कहा,“युवा सौरभ द्वारा शानदार प्रदर्शन! बहुत बहुत बधाई! परिणाम के बावजूद हमें इन युवा एथलीटों का निरंतर समर्थन करना होगा। इनमें ओलंपिक में सफलता हासिल करने की क्षमता है। निरंतर समर्थन की जरुरत है।”