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राज्य » बिहार / झारखण्ड


श्री दास ने कहा कि आजादी के बाद से राज्य में निवास करने वाले 67 हजार आदिम जनजाति के परिवारों की चिंता किसी ने नहीं की। लेकिन, उनकी सरकार ने इन परिवारों की सुध ली है। अगले चार माह के अंदर उनके गांव को मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध करा दी जाएंगी। गांव में पानी की टंकी, सौर लाइट, पाइपलाइन से जलापूर्ति की जाएगी। पाकुड़ में निवास करने वाले आदिम जनजाति के लिए बिरसा आवास योजना तहत 625 मकानों का निर्माण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि वित्त वर्ष 2019-20 की बजट में राज्य सरकार सभी आदिवासी गांव को अलग से 25 लाख रुपये का आवंटन कर रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य की महिलाओं को धुआं से मुक्ति प्रदान करने के उद्देश्य से केंद सरकार ने उज्ज्वला योजना का शुभारंभ किया और मुफ्त गैस सिलेंडर प्रदान कर रही है। वहीं, झारखंड देश का अकेला राज्य है जो 300 करोड़ रुपये के अतिरिक्त बजट से राज्य की महिलाओं को सिलेंडर के साथ निःशुल्क चूल्हा प्रदान कर रहा है। 38459 गरीब परिवारों को सिलेंडर और चूल्हा देने का लक्ष्य तय किया गया है। उन्होंने कहा कि कंचनगढ़ पहाड़िया गांव का सौंदर्यीकरण किया जाएगा। साथ ही धरती पहाड़, प्रकृति विहार पार्क के सौंदर्यीकरण के लिए बजट में प्रावधान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि पाकुड़ के ऐतिहासिक स्थल को सरकार अक्षुण्ण रखेगी।
श्री दास ने किसानों से जैविक खेती अपनाने की अपील करते हुये कहा कि सरकार उनको मदद करने को तैयार है क्योंकि रसायनिक खाद का इस्तेमाल करने से मिट्टी की उत्पादक क्षमता प्रभावित होती है। पिछले माह रांची में आयोजित विश्व कृषि एवं खाद्य सम्मेलन के दौरान विदेशों से आये कृषि वैज्ञानिकों ने जैविक खेती को बढ़ावा देने पर जोर दिया है। प्रति बूंद सिंचाई यानि बूंद-बूंद सिंचाई पर भी किसानों को ध्यान देना है। सभी जिलों में सरकार इस विधि के प्रशिक्षण के लिए विशेषज्ञ को भेजेगी। उन्होंने कहा कि पाकुड़ की सात महिला किसान को सरकार इजरायल जाएंगी।
सूरज रमेश
जारी (वार्ता)
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