बिजनेसPosted at: Mar 21 2018 7:05PM भूमंडलीकरण के साथ ही बहुध्रुवीय विश्व की जरूरत: चौधरीनयी दिल्ली 21 मार्च (वार्ता) कंपनी मामलों के राज्य मंत्री पी पी चौधरी ने प्रतिस्पर्धा कानूनों को कार्यान्वित करने के लिए देशों के बीच प्रभावी सहयोग की आवश्यकता बताते हुये आज कहा कि भूमंडलीकरण के साथ ही बहुध्रुवीय विश्व की जरूरत है। श्री चौधरी ने भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग द्वारा आज यहां आयोजित तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय प्रतिस्पर्धा नेटवर्क (आईसीएन) वार्षिक सम्मेलन का शुभारंभ करते हुये कहा कि प्रतिस्पर्धा कानूनों को कार्यान्वित करने के लिए देशों के बीच प्रभावी सहयोग की आवश्यकता है और विभिन्न कानूनी प्रणालियों, विविध साक्ष्य संग्रह तंत्र आदि को देखते हुए सीमा पार जांच एवं विलय जैसे मुद्दों से संबंधित चुनौतियों का सामना करना अनिवार्य होता जा रहा है। उन्होंने कहा कि वैश्विक सहयोग के लिए एक चरणबद्ध, लचीले और सुनियोजित दृष्टिकोण का अनुसरण करने की आवश्यकता तेजी से बढ़ रही है।उन्होंने कहा कि भारत वैश्विक अर्थव्यवस्था में एक चमकता सितारा है जो कुशल श्रमबल की उपलब्धता के साथ सात प्रतिशत से अधिक का विकास दर अर्जित कर रहा है। भारत का यही प्रदर्शन वैश्विक निवेशकों का ध्यान आकृष्ट कर रहा है।श्री चौधरी ने कहा कि पिछले चार वर्षों में अर्थव्यवस्था में भारी बदलाव लाने के लिए चरणबद्ध तरीके से कई सुधार किये गये हैं और सरकार ने संस्थागत सुधारों पर ध्यान केंद्रित किया है जो घरेलू बाजारों की मजबूती में महत्वपूर्ण भूमिका निभायेगी। उन्होंने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी), आईबीसी, नोटबंदी, डिजिटाइजेशन एवं पारदर्शिता के साथ अब अधिक गतिशील हो गई है जिससे व्यवसाय करने की सुगमता रैंकिंग में भारत की रैंकिंग सुधरी है। इस मौके पर भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग के अध्यक्ष डी के सिकरी और आईसीएन स्टीयरिंग ग्रुप के अध्यक्ष बुंदेस कार्टलामत भी मौजूद थे। इस तीन दिवसीय सम्मेलन में 73 देशों के 500 से अधिक प्रतिनिधि भाग लें रहे हैं।शेखरवार्ता