राज्य » मध्य प्रदेश / छत्तीसगढ़Posted at: Sep 12 2019 9:10PM आदिवासी उपयोजना की राशि का शत-प्रतिशत उपयोग न होने पर होगी सख्ती: मरकामभोपाल, 12 सितंबर (वार्ता) मध्यप्रदेश के आदिम जाति कल्याण मंत्री ओमकार सिंह मरकाम ने कहा है कि प्रदेश के 89 आदिवासी विकासखण्डों में इस वर्ष आदिवासी उपयोजना की राशि का शत-प्रतिशत उपयोग न किये जाने पर सख्त कार्रवाई की जायेगी।श्री मरकाम कल मंत्रालय में विभिन्न विभागों के अधिकारियों की बैठक को सम्बोधित कर रहे थे। प्रमुख सचिव दीपाली रस्तोगी भी मौजूद थी। इस वर्ष आदिवासी उपयोजना में करीब 33 हजार 466 करोड़ की राशि का आवंटन विभिन्न विभागों को दिया गया है।श्री मरकाम ने कहा कि आदिवासी उपयोजना का मूल उद्देश्य आदिवासी परिवारों के आर्थिक स्तर में वृद्धि और जनजाति बहुल ग्रामों में मूलभूत सुविधाएँ उपलब्ध कराना है। साथ ही आदिवासी बहुल ग्रामों को मुख्य सड़क से जोड़ा जाना भी राज्य सरकार की प्राथमिकता में है। इन्हीं उद्देश्यों को ध्यान में रखते हुए प्रदेश में अनुसूचित जनजाति की जनसंख्या के अनुपात के अनुसार बजट में 21.10 प्रतिशत राशि आदिवासी उपयोजना के लिये निर्धारित की जाती है।श्री मरकाम ने आदिवासी उपयोजना में वर्ष 2016-17, 2017-18 और 2018-19 में आवंटित बजट और विभाग द्वारा किये गये व्यय की बिन्दुवार समीक्षा की। उन्होंने विभिन्न विभागों के अधिकारियों से वर्ष 2019-20 में आवंटित राशि का उपयोग किये जाने के लिये तैयार की गई कार्य-योजना की जानकारी ली।श्री मरकाम ने आदिवासी क्षेत्रों में वृद्ध महिलाओं के रहने के लिये महिला आश्रम तैयार किये जाने और उसके संचालन की योजना तैयार करने के निर्देश सामाजिक कल्याण विभाग को दिये। श्री मरकाम ने कहा कि सहकारिता के माध्यम से आदिवासी युवाओं को संगठित कर उन्हें बेहतर रोजगार के अवसर मुहैया कराए जा सकते हैं। श्री मरकाम ने कहा कि आदिवासी बहुल क्षेत्रों में पशुपालन और मत्स्य-पालन की गतिविधियों को बढा़ने की जरूरत है। उन्होंने खादी एवं कुटीर उद्योगों के जरिये रोजगार के अवसर सृजित किये जाने पर भी जोर दिया।बघेल वार्ता