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मध्यप्रदेश में पश्चिमी विक्षोभ का असर कम हुआ, लुढकने लगा पारा

भोपाल 04 जनवरी (वार्ता) मध्यप्रदेश में पश्चिमी विक्षोभ का असर आज कम हो गया है और राजधानी भोपाल सहित प्रदेश के अन्य स्थानों में भी पारा लुढ़कने लगा है, लेकिन चार दिन बाद ही एक और पश्चिमी विक्षोभ अा सकता है।
मौसम विज्ञान केन्द्र भोपाल की वैज्ञानिक सुश्री ममता यादव ने ‘यूनिवार्ता’ को यह जानकारी देते हुए बताया कि आज बैतूल, खरगाेन , सागर , और नरसिंहपुर में शीतल दिन (कोल्ड डे) रहा।
राजधानी भोपाल में सुबह से पूर्वान्ह 11 बजे तक कोहरा छाया रहा। प्रात: काल में द्रश्यता 200 मीटर थी जो बाद में बढकर 500 मीटर हुई। दोपहर 12 बजे धूप खिली , हालांकि बादलों की अावाजाही बनी रही। कल की तुलना में न्यूनतम तापमान तीन डिग्री गिरकर आज 11 डिग्री सेल्सियस दर्ज हुआ। यह सामान्य से एक डिग्री ज्यादा है। पिछले 24 घंटों में शहडोल संभाग में कुछ स्थानों पर हल्की वर्षा हुई। प्रदेश के अन्य क्षेत्र शुष्क रहे।
प्रदेश में सबसे कम रात्रि का तापमान 5 डिग्री शिवपुरी में रिकाॅर्ड हुआ है।
मौसम विभाग के अनुसार बादलों के हटने तथा आकाश के साफ होने पर अब रात और दिन में पारा तेजी से लुढ़कने का का अनुमान है। इससे कड़ाके की ठंड फिर से शुरू हो जायेगी। अगले 6 एवं 7 जनवरी तक करीब -करीब मौसम का मिजाज ऐसा ही बने रहने का अनुमान है।
मौसम विज्ञानी सुश्री यादव ने बताया कि 8 जनवरी से एक और पश्चिमी विक्षोभ (वेस्टर्न डिस्टरबेंस) के आने की तैयारी है।
अगले चौबीस घंटों के दौरान ग्वालियर एवं सागर संभागों के जिलों में तथा बैतूल, रायसेन , भोपाल एवं खरगोन जिलों में ‘कोल्ड ’ डे रह सकता है।
इसके साथ ही ग्वालियर एवं चंबल संभाग तथा सागर एवं रीवा संभाग के जिलों में घने से अति घना कोहरा रह सकता है। जबकि भोपाल , उज्जैन एवं जबलपुर संभाग के जिलों में कहीं कहीं हल्के से मध्यम कोहरा रहने का अनुमान है।
व्यास तिवारी
वार्ता
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