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अन्य राज्यों में नगरीय विकास के कार्य देखने जायेगी अधिकारियों की टीम: भूपेंद्र

भोपाल, 23 सितंबर (वार्ता) मध्यप्रदेश के नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेंद्र ने आज कहा कि देश के अन्य राज्यों में नगरीय विकास के क्षेत्र में हो रहे नवाचार और विकास के कार्यों को देखने अधिकारियों की टीम भेजी जायेगी। इस टीम की रिपोर्ट के आधार पर प्रदेश में योजनाओं के क्रियान्वयन पर विचार किया जायेगा।
श्री सिंह ने यह बात स्वच्छता प्रेरणा कार्यशाला एवं ‘स्वच्छता की बुनियाद’ अभियान में नगरीय निकायों को सम्मानित करते हुए कही। उन्होंने कहा कि स्वच्छता अभियान को निरंतरता देने के उद्देश्य से हर तीन माह में नगरीय निकायों का मूल्यांकन और उन्हें सम्मानित करने का निर्णय लिया गया है। उन्होंने कहा कि अगले तीन माह के बाद होने वाली रैंकिंग में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा नगरीय निकायों को सम्मानित करवाया जायेगा। उन्होंने कहा कि अब सिर्फ राज्य स्तर की श्रेणी रहेगी। संभाग स्तर की श्रेणी नहीं रहेगी।
श्री सिंह ने कहा कि स्वच्छ सर्वेक्षण के साथ ही अन्य विकास कार्यों में भी बेहतर रैंकिंग लाने वाले निकायों के अधिकारियों और कर्मचारियों को पदोन्नति में प्राथमिकता देने पर विचार किया जायेगा। उन्होंने कहा कि शहरों का समुचित विकास होना चाहिये। स्वच्छता के साथ ही अन्य विकास कार्य भी हों। मूल्यांकन भी समग्र रूप से होना चाहिये।
श्री सिंह ने कहा कि इस संकल्प के साथ कार्य करें कि शहर स्वच्छ हों, हरे-भरे हों और नागरिक स्वस्थ हों। उन्होंने बताया कि नगरीय निकायों को एमआरएफ, एफएसटीपी और कम्पोस्टिंग इकाई जैसी अन्य सुविधाओं के लिये बजट उपलब्ध कराया जायेगा।
नगरीय विकास एवं आवास मंत्री ने कहा कि केन्द्र सरकार आगामी 2 अक्टूबर से अमृत और स्वच्छ भारत फेज-2 का शुभारंभ करेगी। उन्होंने कहा कि जल जीवन मिशन शुरू हो चुका है। श्री सिंह ने कहा कि सभी नगरीय निकाय इस संबंध में पहले से प्रोजेक्ट तैयार कर लें। उन्होंने बताया कि प्रदेश विभिन्न योजनाओं में उल्लेखनीय उपलब्धियाँ हासिल कर रहा है। स्ट्रीट वेण्डर फेज-1 में द्वितीय और फेज-2 में प्रथम स्थान पर है। फेज-2 में मध्यप्रदेश में सागर नम्बर-1 पर है।
श्री सिंह ने कहा कि नगरीय निकायों के अधिकारियों की एक कार्यशाला की जायेगी, जिसमें जमीनी स्तर पर आ रही कठिनाइयों के संबंध में उनके सुझाव लिये जायेंगे। उन्होंने कहा कि कई नगर निगमों ने अच्छा काम किया है, उन्हें सम्मानित करने के साथ ही जिन्होंने अच्छा काम नहीं किया है, उनके कारण भी ढूंढे जायेंगे। कार्यक्रम में उन्होंने नगरीय निकाय मैहर, दतिया एवं जबलपुर के स्वच्छता गीतों और स्वच्छ सर्वेक्षण-2022 के पोस्टर का विमोचन किया।
प्रमुख सचिव मनीष सिंह ने कहा कि स्वच्छता अभियान में इन्फ्रा-स्ट्रक्चर मजबूत करने के साथ ही नागरिकों को भी इससे जोड़ें। इस बात का विश्लेषण करें कि स्वच्छतम वार्डों में बीमारी की क्या स्थिति है। उन्होंने कहा कि स्वच्छता के मामले में प्रदेश के शहरों की चर्चा देश और विदेश में भी हो रही है।
आयुक्त नगरीय प्रशासन एवं विकास निकुंज कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि स्वच्छ सर्वेक्षण-2022 के लिये जनवरी में सर्वे होगा। इसके लिये अभी से पूरी तरह से तैयारी करें और पिछली बार से बेहतर रैंक लायें। उन्होंने कहा कि आप जो काम कर रहे हैं, उसे सोशल मीडिया एवं अन्य माध्यमों से जनता तक पहुँचायें। उन्होंने बताया कि निकायों के मूल्यांकन में मटेरियल रिकवरी फेसिलिटी, फीकल स्लज ट्रीटमेंट प्लांट, कम्पोस्टिंग यूनिट्स के प्रबंधन, संचालन एवं रख-रखाव आदि बिन्दुओं को आधार बनाया गया है। प्रदेश के 36 नगरीय निकायों को कुल 71 सम्मान के लिये चयनित किया गया है।
बघेल
वार्ता
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