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सीएए गैर विवादास्पद, गैर भेदभावपूर्ण: राम माधव

भुवनेश्वर, 14 जनवरी (वार्ता) भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय महासचिव राम माधव ने मंगलवार को विपक्षी राजनीतिक दलों पर आरोप लगाया कि वे देश में अशांति और हिंसा पैदा करने के लिए नागरिक संशोधन कानून (सीएए) पर झूठ और अफवाहें फैला रहे हैं।
सीएए पर एक बौद्धिक बैठक में भाग लेने के लिए राज्य के एक दिवसीय दौरे पर आये श्री माधव ने यहां संवाददाताओं से कहा कि सीएए गैर-विवादास्पद, गैर-भेदभावपूर्ण और एक नया कानून नहीं बल्कि कुछ संशोधन के साथ पुराना कानून है। उन्होंने कहा कि इस कानून के माध्यम से सरकार बंगलादेश, अफगानिस्तान और पाकिस्तान के पीड़ित हिंदुअों, बौद्धों, और पारसियों को द्रुत गति से नागरिकता देने की कोशिश कर रही है।
श्री राम माधव ने आरोप लगाया कि विपक्षी दल कुछ बुद्धिजीवियों के साथ मिलकर लोगों को गुमराह कर रहे हैं और इस कानून को विवादास्पद बनाने की कोशिश कर रहे हैं। भाजपा नेता ने कहा कि कुछ ऐसे लोग भी सीएए का विरोध कर रहे हैं, जिन्हें खुद नहीं पता कि वे इसका विरोध क्यों कर रहे हैं वहीं कुछ अन्य विपक्षी दलों के उकसाने पर जानबूझकर यह कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि विपक्षी दल श्री मोदी का राजनीतिक रूप से सामना करने में विफल हैं लिहाजा वह हताशा में सीएए का विरोध कर रहे हैं। ये राजनीतिक दल देश की स्वाभाविक प्रकृति का विरोध करने और अंतरराष्ट्रीय जगत में देश को बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं। महात्मा गांधी और जवाहरलाल नेहरू ने भी इसका समर्थन किया था, लेकिन विपक्षी दल अब लोगों को गुमराह करने के लिए इसका विरोध कर रहे हैं।
श्री माधव ने कहा कि भाजपा ने देश भर में बैठकों, रैलियों और जुलूसों के माध्यम से एक करोड़ परिवारों तक पहुंचने और उन्हें कानून की प्रासंगिकता और महत्व से अवगत कराने की योजना बनायी है। पुलवामा और अन्य आतंकवादी गतिविधियों में बड़ी संख्या में सुरक्षाकर्मी मारे गये लेकिन कांग्रेस पाकिस्तान को क्लीन चिट दे रही थी और पूरे सुरक्षा बलों को दोषी ठहराने की कोशिश कर रही थी।
उन्होंने कहा कि भाजपा के लोगों तक पहुंचने के बाद तमिलनाडु और केरल में बड़ी संख्या में लोग सीएए का समर्थन कर रहे हैं। श्री माधव ने कहा कि सीएए राष्ट्रपति की मंजूरी के बाद संविधान का हिस्सा बन गया है। हर राज्य इसे लागू करने के लिए बाध्य है।
कोई भी इसे लागू करने से इंकार नहीं कर सकता। अगर किसी को कोई समस्या है तो वह अदालत का रुख कर सकता है।
यामिनी, प्रियंका
वार्ता
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