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उत्तराखंड में तेंदुए की दो खाल बरामद, वन्यजीव तस्कर गिरफ्तार

चम्पावत/देहरादून 03 अगस्त (वार्ता) उत्तराखंड की विशेष कार्य बल (एसटीएफ) ने एक सप्ताह के अन्दर वन्य जीवों की तस्करों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की है। इस बार फोर्स ने जनपद चम्पावत से तेंदुआ की दो खाल के साथ एक वन्य जीव तस्कर को गिरफ्तार किया है।
इस आपरेशन में वन विभाग चम्पावत की टीम भी शामिल रही। वन्य जीव तस्कर को देवीधुरा फॉरेस्ट रेंज से गिरफ्तार किया गया है। तस्कर से एसटीएफ व वन प्रभाग की टीमें कर रहीं हैं विस्तृत पूछताछ। अन्य कई और लोगों के भी अपराध में शामिल होने की जताई जा रही है आशंका।
राज्य में वन्य जीव अंगो की अवैध तस्करी में लिप्त तस्करों की अवैध गतिविधियों की रोकथाम व धरपकड़ हेतु अपर पुलिस महानिदेशक (अपराध एवं कानून व्यवस्था) ए पी अंशुमान द्वारा वन्य जीव जन्तुओं की तस्करी के विरूद्ध कठोर कार्रवाई करने के निर्देश एसटीएफ को दिये जाने के फलस्वरूप उत्तराखंड एसटीएफ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक आयुष आग्रवाल की अगुवायी में अपने एक्शन मोड में आ गयी है, जिसके परिणामस्वप एक हफ्ते के अन्दर दो अलग-अलग मामलों में चार वन्य जीव तस्करों को गिरप्तार कर उनके कब्जे से दो हाथी दांत एवं तेंदुए की दो खालें बरामद की गयी है।
इस सम्बन्ध में एसएसपी एसटीएफ आयुष अग्रवाल ने बताया कि प्रभारी निरीक्षक एमपी सिंह के नेतृत्व में एसटीएफ तथा चम्पावत वन प्रभाग की संयुक्त टीम द्वारा एक ज्वांइट ऑप्रेशन में शुक्रवार की शाम कनवाड बैंड देवीधुरा वन रेंज क्षेत्र से एक वन्यजीव तस्कर आनंद गिरि पुत्र महेश गिरी निवासी सूनकोट सेलाखेत थाना मुक्तेश्वर जनपद नैनीताल को तेंदुए की दो खाल के साथ गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तार तस्कर लम्बे समय से वन्यजीव अंगो की तस्करी में लिप्त था, एसटीएफ की इस कार्रवाई में मुख्य आरक्षी गोविन्द बिष्ट की विशेष भूमिका रही।
श्री आयुष अग्रवाल द्वारा बताया गया कि एसटीएफ द्वारा कल जनपद चम्पावत क्षेत्र में चम्पावत वन प्रभाग को साथ लेकर वन्यजीव तस्करों के विरुद्ध बड़ी कार्रवाई की गयी है। जिसमें तेंदुए की दो खाल के साथ एक शातिर वन्यजीव तस्कर को गिरफ्तार किया गया है। वन्यजीव तस्करों का लम्बे समय से चम्पावत क्षेत्र से वन्यजीव अंगो की तस्करी करने का इनपुट एसटीएफ के पास आया था जिसपर एसटीएफ की एक टीम को गोपनीय रुप से इसपर कार्रवाई करने हेतु लगाया गया था, कल जब ये तस्कर खालों को किसी बाहर की पार्टी को बेचने के लिए निकला तो टीम द्वारा गिरफ्तार कर लिया गया। अभी आगे डिटेल पूछताछ के बाद स्पष्ट हो पायेगा, कि पोचिंग कब कहाँ किस जंगल में किस तरह की गयी है। तेंदुआ जिसे वन्यजीव जन्तु संरक्षण अधिनियम की पहली अनुसूची में रखा गया है इसका शिकार करना एक गम्भीर अपराध है, पकड़े गये तस्करों के विरुद्ध देवीधुरा फॉरेस्ट रेंज में वन्यजीव अधि० (वाइल्ड लाइफ एक्ट) के तहत मुकदमा पंजीकृत कराया गया है।
एसएसपी ने जनता से अपील की है कि वह वन्यजीवों की तस्करी करने वाले तस्करों के विरूद्ध कार्यवाही हेतु तत्काल निकटतम पुलिस स्टेशन या एसटीएफ उत्तराखंड (0135-2656202) सेसम्पर्क करें। उत्तराखंड एसटीएफ आगे भी वन्यजीव तस्करों के विरुद्ध कार्यवाही करती रहेगी, ताकि सीधे-साधे व बेजुबान जानवरों के शिकार पर प्रभावी अंकुश लगाया जा सके।
प्रभागीय वनाधिकारी रमेश चन्द्र काण्डपाल द्वारा बताया गया कि शुक्रवार को हमें उत्तराखंड एसटीएफ द्वारा वन्यजीव तस्करी की सूचना प्राप्त होने हमारी देवीधुरा फॉरेस्ट रेंज की टीम ने उत्तराखण्ड एसटीएफ के साथ कार्यवाही कर एक व्यक्ति को तेंदुए की दाे खालों के साथ देवाधुरा क्षेत्र से गिरफ्तार किया है जब वह इन खालों को बेचने की फिराक में जा रहा था। उससे पूछताछ की जा रही है अभी प्रारम्भिक पूछताछ में इसके और भी साथियों की भूमिका सामने आयी है जिस पर आगे कार्रवाई की जायेगी। बरामद खालें दो-तीन वर्ष पुरानी लग रही हैं गिरफ्तार तस्कर के विरूद्ध वन्यजीव संरक्षण अधिनियम 1972 की धारा 2,9,39,42,49,50,51 में देवाधुरा रेंज में अभियोग पंजीकृत कराया गया है।
रवीन्द्र.संजय
वार्ता
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