Thursday, Mar 28 2024 | Time 19:09 Hrs(IST)
image
पार्लियामेंट


जेलों में एक भी मनोचिकित्सक नहीं

नयी दिल्ली 08 फरवरी (वार्ता) देश में जेल सुधारों और कैदियों के कल्याण की दिशा में निरंतर कदम उठाये जाने के सरकार के दावों के बीच केन्द्रीय गृह राज्य मंत्री हंसराज गंगाराम अहीर ने आज राज्यसभा को बताया कि जेलों में एक भी मनोचिकित्सक नहीं है।
श्री अहीर ने पूरक प्रश्नों के जवाब में कहा कि जेलों का प्रबंधन और प्रशासन पूरी तरह से राज्यों का विषय है । केन्द्र सरकार कैदियों विशेष रूप से महिला कैदियों तथा उनके बच्चों की देखभाल के लिए विशेष दिशा निर्देश तथा परामर्श जारी करती है लेकिन इन्हें लागू करना राज्य सरकार का काम है।
एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि देश की जेलों में कोई भी मनोचिकित्सक नहीं रखा जाता। महिला कैदियों की स्थिति के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि 31 दिसम्बर 2015 की स्थिति के अनुसार देश की जेलों में 3 लाख 66 हजार 781 पुरुष कैदी हैं, जो क्षमता से 14 प्रतिशत अधिक है। महिला कैदियों की संख्या 17834 है, जो इन जेलों की क्षमता से 30 फीसदी कम है। उन्होंने कहा कि गर्भवती महिला कैदियों की देखरेख के लिए जेलों में विशेष इंतजाम किये जाते हैं और इनके 6 वर्ष तक के बच्चों को इनके साथ जेलों में ही रखा जाता है तथा उन्हें सभी सुविधाएं दी जाती हैं। इसके अलावा महिला जेलों में महिला स्टाफ की संख्या 4391 है।
संजीव अजय
(वार्ता)
There is no row at position 0.
image