राज्य » पंजाब / हरियाणा / हिमाचलPosted at: Aug 8 2019 8:07PM कृषि विभाग की लापरवाही के कारण किसान को नहीं मिल रहा मुआवजाजींद, 08 अगस्त(वार्ता) हरियाणा के जींद जिले के उचाना कलां गांव का किसान बलबीर श्योकंद को कृषि विभाग की लापरवाही का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है। फसल बीमा में गांव का नाम गलत लिख देने के कारण उसे उसकी खराब हुई कपास की फसल का बीमा कम्पनी से मुआवजा नहीं मिल पा रहा है। हार कर उसने अब सीएम विंडो पर शिकायत कर विभाग के कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। श्याेकंद का कहना है कि कृषि विभाग ने वर्ष 2018 में कपास की फसल का बीज सब्सिडी पर दिया था। बीज लेने के साथ ही फसल की बीमा भी कराना अधिकारियों ने अनिवार्य बताया। कृषि विभाग में तीन एकड़ के लिये करीब 1750 रुपए का बीमा प्रीमियम जमा कराया। कृषि विभाग ने नरवाना के सीएससी से उसकी फसल का बीमा कराया। जब उचाना कलां में जल भराव के कारण कपास की फसल खराब हुई तो किसानों को बीमा राशि मिली। इस पर वह भी सूची देखने गया लेकिन इसमें उसका नाम नहीं था। किसान ने बताया कि जब उसने पता किया तो पता चला कि सीएससी केंद्र नरवाना में कृषि विभाग ने जो बीमा कराया था उसमें उचाना कलां गांव के बजाए उसके गांव का नाम सफा खेड़ी लिखा दिया। ऐसे में बीमा कम्पनी ने उसे फसल खराब होने पर बीमा राशि देने से इनकार कर दिया। अब उसने कृषि विभाग और सीएससी केंद्र के कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग तथा मुआवजा राशि दिलाने को लेकर सीएम विंडो पर शिकायत की है। खेड़ी मंसानिया गांव के एक अन्य किसान जगदीश ने भी इस तरह की शिकायत सीएम विंडो में की है जिसमें बैंक द्वारा उसके गांव का नाम खेड़ी मंसानिया की जगह सफा खेड़ी दर्शाया है। इस बीच कृषि विभाग के एएसओ नवनीत का कहना है कि इस तरह के जो भी मामले हैं उनमें किसान अपनी शिकायत कृषि विभाग जींद में दे। जिला निगरानी कमेटी में इनका समाधान किया जाएगा। सं.रमेश1850वार्ता