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गन्ना किसानों काे बरबाद करने पर तुली सरकार: हुड्डा

गन्ना किसानों काे बरबाद करने पर तुली सरकार: हुड्डा

चंड़ीगढ़, 08 जनवरी(वार्ता) हरियाणा में विपक्ष के नेता राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने राज्य की भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) और जननायक जनता पार्टी(जजपा) पर गन्ना किसानों को बरबाद करने कालगाया आरोप है।

श्री हुड्डा ने आज यहां जारी एक बयान में दावा किया कि भाजपा सरकार में लगातार किसानों के हितों से धोखा हुआ है। गत कई दिनों से राज्य के पलवल, मेवात, अम्बाला, यमुनानगर, कुरुक्षेत्र ,कैथल, फरीदाबाद आदि समेत प्रदेशभर में लगातार गन्ना किसानों के रोष प्रदर्शन की ख़बरें आ रही हैं। न तो गन्ना किसानों को बॉन्ड के मुताबिक पर्ची भेजी जा रही है, न उनकी फसल की ख़रीद हो रही है, न उचित दाम मिल रहा है और न ही ख़रीद के बाद भुगतान का रास्ता नज़र आ रहा है। गत सीज़न में भी किसानों को गन्ना का भुगतान लेने के लिये सड़कों पर उतरना पड़ा था।

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों की चिंता मात्र ख़रीद और भुगतान को लेकर नहीं है। उनमें गन्ने के मौजूदा भाव को लेकर भी गहरी नाराज़गी है। किसान आज भी कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में हुई न्यूनतम समर्थन मूल्य(एमएसपी) में बढ़ौतरी को याद करते हुए राज्य की मौजूदा सरकार को कोस रहे हैं। किसानों का कहना है कि राज्य की भाजपा सरकार ने अपने पांच साल के शासनकाल में बमुश्किल एमएसपी में 30 रुपये का इज़ाफ़ा किया। लेकिन मौजूदा भाजपा-जजपा सरकार ने तो एमएसपी में एक पैसे की भी बढ़ौत्तरी नहीं की। जबकि खेती लगातार मंहगी होती आ रही है। तेल से लेकर खाद और बीज के दामों में वृद्धि हुई है। यही वजह है कि खेती के मामले में ख़ुशहाल माने जाने वाले हरियाणा में भी भाजपा सरकार के दौरान किसान आत्महत्याओं के कई मामले सामने आए।

भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने दावा किया कि वर्ष 2005 से 2014 तक कांग्रेस सरकार में गन्ने के एमएसपी में रिकॉर्ड तोड़ वृद्धि हुई और यह 117 से बढ़ कर 310 रुपये प्रति क्विंटल पहुंच गया। इस दौरान एमएसपी में 193 रुपये की वृद्धि हुई। ऐसे में किसानों को आंदोलन के लिये मजबूर नहीं होना पड़ा। उन्होंने गन्ना किसानों की मौजूदा मांगों और इसके लिये किये जा रहे आंदोलन का समर्थन करते हुये सरकार को बिना देरी किए गन्ने का रेट कम से कम 375 रुपये प्रति क्विंटल करना चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकार ने अगर गन्ना किसानों की मांगों पर गौर नहीं किया तो कांग्रेस राज्य सरकार के विरूद्ध विधानसभा सत्र में और किसानों के साथ सड़कों पर उसका विरोध करेगी।

रमेश1849वार्ता

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