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जापानी कम्पनियों के लिये हैं हरियाणा में निवेश के अपार अवसर: अग्रवाल

चंडीगढ़, 01 जुलाई(वार्ता) हरियाणा राज्य औद्योगिक एवं अवसंरचना विकास निगम (एचएसआईआईडीसी) के प्रबंध निदेशक अनुराग अग्रवाल ने कहा है कि जापानी कम्पनियों के लिये राज्य में निवेश के अपार अवसर मौजूद होने के साथ राज्य सरकार निवेशकों को हरसम्भव सुविधाएं मुहैया कराएगी।
श्री अग्रवाल ने आज यहां जापानी कंपनियों के साथ भारत के उतरी राज्यों में निवेश के अवसर पर वेबिनार में हरियाणा की तरफ से प्रस्तुती में यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि राज्य में उद्योगों को बढ़ावा देने और युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराने के उदेश्य के लिए द्वारा आईएमटी सोहना और खरखौदा में 4000 से अधिक प्लाटों के आंबटन का कार्य प्रक्रियाधीन हैं और इन प्लाटों के लिए आईएमटी मानेसर में 1500 एकड़ भूमि और खरखौदा में 3000 एकड़ भूमि अधिग्रहित की गई है। उन्हाेंने कहा कि एचएसआईआईडीसी ने 1100 विकसित प्लॉटों के साथ 34 औद्योगिक एस्टेट विकसित किए हैं जोकि 450 वर्ग मीटर से लेकर 4,000 वर्ग मीटर तक के आईएमटी फरीदाबाद, आईएमटी बावल, आईएमटी माणकपुर, आईई पानीपत, उद्योग विहार गुरुग्राम में उपलब्ध हैं।
उन्होंने कहा कि हरियाणा की देश के सबसे बड़े उपभोक्ता बाजार तक पहुॅच है। राज्य को ईज-ऑफ-डूइंग बिजनेस रैंकिग में डीआईआईपीटी और विश्व बैंक द्वारा उतर भारत में प्रथम और देश में तीसरा स्थान दिया है। उन्होंने कहा कि राज्य में सात आर्थिक ज़ोन क्रियाशील हैं जिनमें दस हजार करोड़ से अधिक का निवेश है और इनमें एक लाख से अधिक लोगों को रोजगार मिला हुआ है। उन्होंने कहा कि हरियाणा दो अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डों, व्यापक कनैक्टीविटी के लिए रेल और सड़क नेटवर्क, नौ अंतर्देशीय कंटेनर डिपो, तील कंटेनर माल स्टेशन और आठ निजी मालवाहक टर्मिनल तक पहुंच प्रदान कर औद्योगिक क्षेत्रों को मजबूत कनेक्टिविटी प्रदान करता है।
श्री अग्रवाल के अनुसार हरियाणा देश में पूंजी उत्पाद, उत्खनन में 80 प्रतिशत और क्रेन के निर्माण में 52 प्रतिशत की भागीदारी रखता है। इसके अलावा, राज्य का मानेसर-बावल क्षेत्र पूंजीगत उत्पाद के निर्माण के समर्पित है। पूरा राज्य एक प्रमुख औद्योगिक कोरिडोर दिल्ली-मुंबई औद्योगिक कोरिडोर, अमृतसर-कोलकाता औद्योगिक कोरिडोर और कुंडली- मानेसर-पलवल एक्सप्रेसवे द्वारा कवर किया गया है, और औद्योगिक इकाइयों को उपभोग हब और बंदरगाहों से जोड़ता है। उन्होंने कहा कि जेट्रो के एक अध्ययन के अनुसार, देश में पंजीकृत जापानी कंपनियों की संख्या 2006 में 267, 2017 में 1369 और 2018 में बढ़कर 1441 हो गई। इनमें 27 प्रतिशत से अधिक हरियाणा में मौजूद हैं।
एचएसआईडीसी के प्रबंध निदेशक ने बताया कि हरियाणा की उद्यम प्रोत्साहन नीति, 2015 में निवेशकों को 75 प्रतिशत तक निवेश प्रोत्साहन, स्टांप ड्यूटी की 100 प्रतिशत प्रतिपूर्ति, 100 प्रतिशत बिजली शुल्क में छूट के साथ रोजगार सृजन सब्सिडी जैसी वित्तीय प्रोत्साहन दिए जा रहे हैं। राज्य के पास कृषि और खाद्य प्रसंस्करण, आईटी और ईएसडीएम, लॉजिस्टिक और वेयरहाउसिंग, वस्त्र और फार्मास्युटिकल क्षेत्र के लिए क्षेत्र विशेष समर्पित नीतियां हैं।
रमेश1923वार्ता
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