राज्य » उत्तर प्रदेशPosted at: Nov 21 2018 7:04PM कश्मीर में शहीद हुए जबरसिंह का राजकीय सैनिक सम्मान के साथ अंतिम संस्कारसहारनपुर, 21 नवंबर (वार्ता) जम्मू कश्मीर के बम धमाके में शहीद हुए सहायक कमांडेंट जबर सिंह का बुधवार को उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले में उनके पैतृक गांव भैरमऊ में राजकीय सैनिक सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। उनके आठ वर्षीय बेटे हर्षित ने शहीद को मुखाग्नि दी तो वहां मौजूद हजारों लोगों की आंखें नम हो गई। उनका पार्थिव शरीर गत रात ही गांव लाया गया था। वह सोमवार की रात जम्मू-कश्मीर के साम्बा सेक्टर में पाकिस्तान की ओर से फेंके गए ग्रेनेड हमले में शहीद हो गए थे। वह सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की 173वीं बटालियन में तैनात था। प्रदेश के राज्यमंत्री धर्मसिंह सैनी, कमिश्नर सीपी त्रिपाठी, जिलाधिकारी आलोक पांडे, एसएसपी दिनेश कुमार समेत जनप्रतिनिधियों और गणमान्य लोगों ने शहीद को श्रद्धांजलि दी। जिलाधिकारी आलोक पांडे ने शहीद की पत्नी रविता को राज्य सरकार की ओर से 25 लाख रूपए का चैक प्रदान किया। शहीद की पत्नी रविता की आंखों से आंसू रूकने का नाम ही नहीं ले रहे थे। उसने भाव विहल होकर कहा कि वह अपने पति का छुट्टी पर आने का बेसब्री से इंतजार कर रही थी लेकिन उसने यह कभी नहीं सोचा था कि पति की वापसी इस तरह से होगी। शहीद के 76 वर्षीय पिता सिताब सिंह ने बताया कि उनके तीन बेटों में जबर सिंह सबसे छोटा था। वह वर्ष 2002में सीआईएसएफ में सिपाही के पद पर भर्ती हुआ था। वर्ष 2009 में वह बीएसएफ में सहायक कमांडेंट बन गया था।तीन माह पहले ही उनको वीरता पुरस्कार से भी सम्मानित किया गया था। शहीद के बड़े भाई जगदीश ने बताया कि उसकी भतीजी की शादी होने के कारण जबरसिंह 13 दिसंबर को छुट्टी पर घर लौटने वाला था।सं तेजवार्ता