मथुरा 21 अप्रैल (वार्ता) उत्तर प्रदेश में मथुरा की एक अदालत ने जमीन का फर्जी बैनामा करने के आरोप में समाजवादी पार्टी (सपा) के पूर्व जिला अध्यक्ष समेत पांच लोगों को सात सात साल के कारावास का आदेश दिया है।
इसी मामले में दो लोगों को बरी कर दिया गया है।
अभियोजन पक्ष के अनुसार जमीन के मालिक छगन लाल ने सपा के पूर्व जिला अध्यक्ष गुरूदेव शर्मा, अखिल वर्मा निवासी विकासनगर एक्सटेंशन उत्तमनगर नई दिल्ली, वीरेन्द्र निवासी गोविन्दनगर, युद्धराज सिंह निवासी संतकालोनी वृन्दावन, अनुराग पंजाबी कृष्णानगर, नारायणदास कैलाश नगर वृन्दावन, संजीव गुप्ता नवीन बस्ती नई दिल्ली के खिलाफ मथुरा जिले के थाना सदरबाजार में वर्ष 2005 में धोखाधड़ी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी।
इसकी पृष्ठभूमि में मथुरा निवासी पूसाराम की 1960 में मौत है। गुरूदेव शर्मा पर आरोप है कि उन्होंने अन्य आरोपियों के साथ मिलकर पहले बाजना पुल के पास हाई वे पर पूसाराम की फर्जी वसीयत कराकर जमीन को अपने नाम कराया और फिर उसे दूसरे को बेंच दिया।
उधर पूसाराम के भतीजे नत्थो ने जब सरकारी कागजातों में देखा तो जमीन उसके नाम मिली। बाद में इस पर मुकदमा चला तथा असलियत सामने आ गई।
न्यायमूर्ति ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए सपा के पूर्व जिला अध्यक्ष गुरूदेव शर्मा, अखिल, वीेरेन्द्र, युद्धराज एवं अनुराग सिंह को सात सात साल के कारावास का आदेश दिया है। साथ ही प्रत्येक पर 25-25 हजार का जुर्माना भी लगाया है। इसी मामले में संजीव एवं नारायण दास को आरोप से बरी कर दिया गया है।
सं प्रदीप
अवधेश
वार्ता