राज्य » उत्तर प्रदेशPosted at: Nov 25 2019 11:54PM कैडर से बड़े बंगले विधायकों को दिये जाने पर जवाब तलबलखनऊ 25 नवम्बर (वार्ता) इलाहाबाद उच्व न्यायालय की लखनऊ पीठ ने विधायकों को उनके कैडर से बड़े बगलें दिए जाने के मामले में कडा रुख अपनाते हुए राज्य संपत्ति विभाग का जवाबी हलफनामा मांगा है । अदालत ने सोमवार को कहा कि अगली सुनवाई तक जवाबी हलफनामा न पेश करने पर अदालत भारी हर्जाना लगायेगी । यह अहम मामला शिवपाल सिंह यादव सहित अन्य विधायको एवं विधान परिषद सदस्यों को बड़े सरकारी बगले आवंटित किए जाने से संबंधित है । न्यायमूर्ति पंकज कुमार जायसवाल व न्यायमूर्ति आलोक माथुर की खंडपीठ ने यह आदेश एक जनहित याचिका पर सुनवाई के बाद दिए है । जनहित याचिका में यह मुद्दा उठाया गया है कि पूर्व समाजवादी पार्टी के विधायक शिवपाल सिंह यादव सहित नीरज बोरा , पंकज सिंह ,व आशीष पटेल को राज्य सम्पति विभाग ने गैर कानूनी तरीके से सरकारी बंगले आवंटित किए है । आरोप है कि नियम कायदों को दर किनार कर यह बंगले आवंटित किए गए है । कहा गया है कि इन सबको टाइप छह के बड़े बंगले आवंटित है जबकि विधायको को नियमानुसार टाइप चार का आवास मिल सकता है । लिहाजा यह बंगले खाली कराए जाएं । दूसरी ओर सरकारी वकील ने अदालत को बताया कि 2016 की नियमावली के अनुसार इन विधायकों को बिलकुल सही बंगले आवंटित है । इसमें किसी भी नियम का उल्लंघन नही किया गया है । इसलिए याचिका पोषणीय नही है ।कहा कि जनहित याचिका खारिज की जाय । अदालत ने कहा कि इस बात को जवाबी हलफनामे के साथ पेश करे । अगली सुनवाई दाे हफ्ते बाद नियत की गई है ।सं प्रदीपवार्ता