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उत्तर प्रदेश-योगी परीक्षा निर्देश दो अंतिम लखनऊ

मुख्यमंत्री ने जिला विद्यालय निरीक्षकों को सभी परीक्षा केन्द्रों का शत-प्रतिशत स्थलीय निरीक्षण कर आधारभूत सुविधाओं की व्यवस्था करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कक्ष निरीक्षकों तथा केन्द्र व्यवस्थापकों की नियुक्ति करने के साथ-साथ उनके पहचान पत्र जारी किए जाएं। इसके अलावा, प्रश्नपत्रों एवं उत्तर पुस्तिकाओं के सुरक्षित रख-रखाव की व्यवस्था का प्रभावी पर्यवेक्षण सुनिश्चित किया जाए।
उन्होंने सचल दलों का गठन एवं परीक्षा केन्द्रों का नियमित निरीक्षण करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सचल दलों में अच्छी छवि वाले अधिकारियों को शामिल किया जाए। अनुचित साधन प्रयोग से सम्बन्धित सूचना का समय से प्रेषण करते हुए विधिक कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। परीक्षा केन्द्रों की लाइव माॅनीटरिंग की जाए। शिकायतों की सीसीटीवी फुटेज/रिकाॅर्डिंग से जांच की जाए और 24 घंटे के अन्दर उन्हें निस्तारित किया जाए। आवश्यकता पड़ने पर छात्राओं की तलाशी महिला शिक्षिका द्वारा ही ली जाए। यदि कक्ष निरीक्षकों की कमी पड़ती है तो बेसिक शिक्षा परिषद के अध्यापकों को लगाया जाय। उन्होंने जनपद सुल्तानपुर के परीक्षा केन्द्रों की जांच शासन द्वारा गठित समिति द्वारा कराने के निर्देश दिए।
श्री योगी ने जौनपुर, गाजीपुर, सुल्तानपुर, आजमगढ़, देवरिया, बलिया, अलीगढ़, फिरोजाबाद, एटा, बिजनौर, बागपत, सहारनपुर, इटावा, आगरा, बांदा, मथुरा, मुजफ्फरनगर, हरदोई और प्रयागराज के अधिकारियों से परीक्षा की तैयारियों की विस्तृत जानकारी ली और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
उन्होंने सभी अधिकारियों को निर्देश दिए कि यह सुनिश्चित किया जाए कि परीक्षा केन्द्र में प्रबन्धक तथा उनके सम्बन्धी किसी भी हाल में प्रवेश न कर पाएं। जिन केन्द्रों पर परीक्षा में गड़बड़ी हो, उन्हें अगली बार डिबार कर दिया जाए। उन्होंने मोबाइल फोन और डिजिटल माध्यमों से नकल पर हर हाल में रोक लगाने के निर्देश दिए। कक्ष निरीक्षकों के पास किसी भी हाल में मोबाइल फोन न हो। परीक्षा केन्द्र के चुनाव में जिला विद्यालय निरीक्षक और संयुक्त निदेशक शिक्षा पूरी सावधानी बरतें। यह सुनिश्चित करें कि किसी भी हाल में नकल न होने पाए।
मुख्यमंत्री ने विश्वविद्यालयी परीक्षाओं को भी पूरी शुचिता के साथ सम्पन्न कराने के निर्देश दिए। उन्होंने वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग में मौजूद सभी कुलपतियों तथा रजिस्ट्रार को बैठक कर नकलविहीन परीक्षा सुनिश्चित करने के लिए कार्यक्रम बनाने के निर्देश दिए। नकल के लिए बदनाम महाविद्यालयों इत्यादि को परीक्षा केन्द्र न बनाया जाए। उन्होंने सभी विश्वविद्यालयों द्वारा परीक्षा के लिए कार्यक्रम बनाकर अप्रैल माह तक परीक्षा पूर्ण करवाकर जून तक परिणाम घोषित करने के लिए कहा। उन्होंने विश्वविद्यालयों की परीक्षा के दौरान परीक्षा केन्द्रों की सीसीटीवी से माॅनीटरिंग करने तथा फ्लाइंग स्क्वाॅयड के माध्यम से निरीक्षण करने के निर्देश दिए।
वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग को उप मुख्यमंत्री डाॅ0 दिनेश शर्मा ने भी सम्बोधित किया। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार परीक्षाओं की शुचिता एवं पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए कटिबद्ध है। उन्होंने पूरे प्रदेश में नकलविहीन बोर्ड परीक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी अधिकारियों का आह्वान करते हुए कहा कि परीक्षाओं की लाइव माॅनीटरिंग की जाएगी।
उन्होंने परीक्षा केन्द्रों पर जेनरेटर्स की व्यवस्था करने के निर्देश दिए। उन्होंने संवेदनशील जनपदों में हाईस्कूल तथा इण्टरमीडिएट की परीक्षाओं में रंगीन काॅपियों के इस्तेमाल के विषय में भी जानकारी दी। साथ ही, परीक्षा केन्द्रों की माॅनीटरिंग के लिए इण्टरनेट की व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए भी कहा। उन्होंने विश्वविद्यालयों के कुलपतियों तथा रजिस्ट्रार से शैक्षणिक कैलेण्डर के अनुसार समयबद्धता के साथ सभी परीक्षाएं करवाने के निर्देश दिए। मूल्यांकन के दौरान किसी बाहरी व्यक्ति का प्रवेश हर हाल में प्रतिबंधित किया जाए।
बैठक में मुख्य सचिव आर के तिवारी, अपर मुख्य सचिव गृह एवं सूचना अवनीश कुमार अवस्थी, प्रमुख सचिव माध्यमिक शिक्षा श्रीमती आराधना शुक्ला, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री एस पी गोयल, पुलिस महानिदेशक हितेश चन्द्र अवस्थी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
त्यागी
वार्ता
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