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महाकुंभ में बिछड़ों को मिलाएगा एआई

प्रयागराज,15 अक्टूबर (वार्ता) मानवता के अमूर्त धरोहर के तौर पर यूनेस्को से मान्यता प्राप्त महाकुंभ मेले में श्रद्धालुओं के अपने परिजनों से बिछुडने से मिलाने के लिए मेला प्राधिकरण पहली बार आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) का उपयोग करेगा।
अपर मेलाधिकारी विवेक चतुर्वेदी ने मंगलवार को बताया कि श्रद्धालुओं को परेशानी से बचाने के लिए इस बार मेला में कई नई चीजो का प्रयोग किया जाएगा। 13 जनवरी से शुरू होने वाले महाकुंभ में आने वाले श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की परेशानी से बचाने के लिए मेला प्राधिकरण पहली बार कृतिम बुद्धीमत्ता (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस) का उपयोग करने जा रहा है जो मेला क्षेत्र में अपनों से बिछड़े लोगों को मिलाने में सहायता करेगा।
मेला प्राधिकरण की मदद मोती लाल नेहरू नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एमएनएनआईटी) भी कर रहा है। इसके जरिए लोगों को मेला के दौरान कोई रास्ता खोजना, एक दूसरे से मिलने आदि की समस्या से निजात मिलेगी। मेला प्राधिकरण इसके लिए जीयो टैगिंग का उपयोग भी कर रहा है।
महाकुंभ में देश-दुनिया के अलग-अलग स्थानों से करोड़ों की संख्या में लोग पहुंचेंगे। अक्कसर लोग अपने परिवार या मित्रजनों से बिछड़ जाते हैं। अलग क्षेत्रीय भाषा होने के कारण कई बार उनको बातचीत (कम्यूनिकेशन) में परेशानी का सामना करना पडता है। इन समस्याओं को देखते हुए प्राधिकरण की तरफ से भाषीणी एप का प्रयोग किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि वैसे तो यह अग्रेजी समेत 15 भाषाओं की जानकारी देता है लेकिन अभी हम 10 क्षेत्रीय भाषाओं में लोगों के साथ जानकारी साझा करेगा। आवश्यकता पड़ने पर इसको और बढाया जाएगा।
इस एप की मदद से कोई भी अपनी क्षेत्रीय भाषा में प्रश्न करेगा, तो खोया पाया केंद्र में बैठे वालिंटियर को हिंदी में उसकी जानकारी मिलेगी। इसी प्रकार वालेंटियर जब हिंदी में संबंधित व्यक्ति को उसकी समस्या का समाधान बताएगा, उनको उसकी क्षेत्रीय भाषा में जानकारी मिलेगी।
महाकुंभ मेला प्राधिकरण की तरफ से इस बार एआई चैटपाट की शुरूआत भी की जा रही है। इसके लिए सभी जरूरी कार्य पूरे किए जा चुके हैं। एआई चैटपाट लोगों को प्रयागराज में रहने की जगह तलाशने से लेकर अखाड़ों, महंतों के शिविर तक की जानकारी उनकी अपनी क्षेत्रीय भाषा में देगा। बाहर से आने वाले को उसको प्लेन आदि की पूरी डिटेल उपलब्ध कराएगा।
उन्होंने बताया कि इसके जरिए प्रयागराज में महाकुंभ के दौरान आने वाले लोगों को ठहरने की जगह से लेकर कहीं जाने तक की जानकारी उनकी अपनी क्षेत्रीय भाषा में यह एप उपलब्ध कराएगा। लोगों को अपने मोबाइल में इस एप को डाउनलोड करना होगा जिससे उनकों अधिक से अधिक जानकारी मिला सके।
दिनेश प्रदीप
वार्ता
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