राज्य » उत्तर प्रदेशPosted at: Nov 25 2024 10:54AM समाज कल्याण विभाग में बजट खत्म होने से 7500 बुजुर्गों की पेंशन लटकीइटावा, 25 नवंबर (वार्ता) उत्तर प्रदेश में इटावा जिले के समाज कल्याण विभाग में बजट खत्म होने से करीब साढ़े सात हजार बुजुर्गों की पेंशन लटक गई है। जिला समाज कल्याण अधिकारी रविंद्र कुमार शशि ने सोमवार को बताया कि सभी योजनाओं का बजट केंद्र और राज्य सरकार की तरफ से जारी किया जाता है। शासन को पत्र लिखकर बजट की मांग की गई है। वृद्धावस्था पेंशन की धनराशि निदेशालय से जारी होती है । यहां से तो पूरी सूची भेजी जाती है, जिन लोगों के राशन कार्ड या फैमिली आईडी नहीं है, उनकी पेंशन रोकी जा रही है, फिर भी किसी लाभार्थी को कोई परेशानी है तो वह कार्यालय में आकर संपर्क कर सकता है। जिले में पति की मृत्यु के बाद मिलने वाली आर्थिक मदद और वृद्धावस्था पेंशन लाभार्थियों के लिए दूर की कौड़ी साबित हो रही है। समाज कल्याण विभाग की तरफ से संचालित इन योजनाओं का लाभ करीब 8000 रुपये लाभार्थियों को बजट और कागजातों के अभाव में नहीं मिल पा रहा है, नतीजन यह फरियादी दो माह से विवाह के चक्कर काटने को मजबूर बने हुए हैं। विभाग के अधिकारी फरियादियों को बजट न होने का हवाला देकर वापस कर रहे हैं, पैसा कब मिलेगा इसकी किसी को सही जानकारी तक नहीं है। समाज कल्याण विभाग गरीब वर्ग के लोगों को वृद्धावस्था पेंशन पारिवारिक लाभ और एससी एसटी वर्ग के पीड़ितों को आर्थिक मदद देता है। वृद्धावस्था पेंशन के तहत प्रतिमाह 1000 रुपये और पारिवारिक लाभ योजना के तहत 3000 रुपये और उत्पीड़न के मामलों के केस के आधार पर पैसा दिया जाता है।अक्टूबर से पारिवारिक लाभ योजना के तहत 166 लाभार्थियों को 49 लाख 80 हजार रुपए और एससी एसटी वर्ग के उत्पीड़न के 99 पीड़ितों को 72 लाख 50 हजार रुपए जारी किया गया था। इससे वित्तीय वर्ष में विभाग की ओर से वृद्धावस्था पेंशन के लिए लगभग 70 हजार लोगों की सूची भेजी गई थी पहली किस्त में 640037 लाभार्थियों को पेंशन मिल सकी है। वहीं दूसरी किस्त में 62990 लाभार्थियों को लाभ मिला है 8000 लोगों को किस्त क्यों रोकी गई है उनकी जानकारी किसी के पास नहीं है। निवाड़ी कला निवासी स्वामी प्रसाद का कहना है पहले उन्हें पेंशन की धनराशि मिलती थी। पिछले एक साल से धनराशि आनी बंद हो गई है कई बार ब्लॉक से लेकर जिला मुख्यालय पर स्थित कार्यालय के चक्कर लगा चुके हैं। बुजुर्ग सोनेलाल बताते हैं कि उन्हें बीते आठ माह से पेंशन की धनराशि प्राप्त नहीं हो रही है। बुढ़ापे के कारण रोज-रोज कार्यालय के चक्कर नहीं लग पा रहे हैं पेंशन मिल जाने से थोड़ी सहूलियत हो जाती थी।सं प्रदीपवार्ता