खरगोन, 05 सितंबर (वार्ता) मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि विपक्ष उनका मुकाबला नहीं कर पाने की हताशा के चलते पहले उन्हें शब्दों से निशाना बनाता था, अब पत्थरों से निशाना बना रहा है, लेकिन उन्हें इसकी परवाह नहीं है।
श्री चौहान आज खरगोन जिले के भीकनगांव में अपने अपनी जन आशीर्वाद यात्रा के तहत कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच जनसभा को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस जनता को भड़काने का काम कर रही है किंतु वह शांति बनाए रखते हुए इनके बहकावे में ना आए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि विगत 15 वर्षों के भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कार्यकाल में बिना भेदभाव किए प्रत्येक वर्ग के लिए अभूतपूर्व कल्याणकारी योजनाएं संचालित की गई हैं, जिससे आम जनता के जीवन में आमूल चूल परिवर्तन हुआ है। कांग्रेस गरीबी हटाने का नारा देती रही लेकिन कभी भी गरीबों की ओर ध्यान नहीं दिया।
उन्होंने गरीबों के लिए केंद्र तथा राज्य द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि इसी तरह जनता का सहयोग मिलता रहा तो एक दिन मध्यप्रदेश में गरीब को खत्म कर नया इतिहास रचा जाएगा।
श्री चौहान ने कहा कि निमाड़ को नर्मदा जल से पूरी तरह से लाभान्वित किया जाएगा और यहां करीब 5000 करोड़ रुपए की सिंचाई परियोजनाओं पर कार्य चल रहा है।
मुख्यमंत्री श्री चौहान ने आज खरगोन जिले की 3 तहसीलों भीकनगांव, झिरनिया तथा सनावद के 129 गांव को लाभान्वित करने वाली नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण की 'भीकनगांव बिंजलवाड़ा उद्वहन सिंचाई योजना' का भूमि पूजन किया।
इस दौरान प्रदेश के श्रम एवं कृषि राज्यमंत्री बालकृष्ण पाटीदार, खंडवा के सांसद नंदकुमार सिंह चौहान, खरगोन बड़वानी के सांसद सुभाष पटेल तथा क्षेत्रीय विधायक श्रीमती झूमा सोलंकी भी उपस्थित थी।
विभिन्न कार्यक्रमों के पूर्व भीकन गांव की कुछ दुकानों तथा मकानों पर सपाक्स समर्थकों ने अनुसूचित जाति-जनजाति अधिनियम के प्रावधानों को लेकर मुख्यमंत्री के विरुद्ध काले झंडे भी लगाए हुए थे, जिन्हें पुलिस प्रशासन के हस्तक्षेप के बाद हटाया गया। उन्होंने कई दुकानों पर पोस्टर भी लगाए थे कि 'वह सामान्य वर्ग से आते हैं, अतः उनसे वोट मांग कर शर्मिंदा न करें'।
सपाक्स ने कार्यक्रम के समापन के बाद अनुसूचित जाति-जनजाति अधिनियम के प्रावधानों के विरोध में मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा जिसे उन्होंने दिल्ली तक पहुंचाने का आश्वासन दिया।
सं सुधीर
वार्ता