भारतPosted at: Nov 11 2019 6:25PM सिद्धांत से शांति स्थापित होगी: सैयद हमीद
नयी दिल्ली, 11 नवंबर (वार्ता) योजना आयोग की पूर्व सदस्य डॉ सैयदा सैय्यदैन हमीद ने सोमवार को कहा कि वर्तमान परिस्थितियों में महान स्वतंत्रता सेनानी और पूर्व शिक्षामंत्री मौलाना अबुल कलाम आजाद के हिंदू-मुस्लिम एकता के सिद्धांत को अपनाकर ही देश में शांति का वातावरण स्थापित किया जा सकता है।
उन्होंने यहां राष्ट्रीय परिषद में मौलाना आज़ाद पर आयोजित एक समारोह में कहा कि वर्ष 1923 में जब मौलाना आजाद केवल 35 साल की उम्र में कांग्रेस के अध्यक्ष चुने गए तो उस समय भी उन्होंने हिंदू-मुस्लिम एकता पर जोर दिया था और कहा था कि हमारी स्वतंत्रता की बुनियाद ही हिंदू-मुस्लिम एकता है।
श्रीमती हमीद ने कहा कि इसी तरह जब वह फिर से 1940 में कांग्रेस के अध्यक्ष के पद पर आसीन हुए तो उस समय उन्होंने कहा कि उन्हें गर्व है कि हमारा 1300 साल का इतिहास है और यह भी गर्व है कि वह भारतीय हैं और कभी इससे पीछे नहीं हटेंगे।
योजना की पूर्व सदस्य के अनुसार मौलाना आजाद ने कहा था,“आज अगर एक दूत स्वर्ग से उतर आए और दिल्ली की कुतुबमीनार पर खड़ा होकर यह घोषणा करे कि स्वराज 24 घंटे अंदर मिल सकता है, बशर्ते भारत हिन्दू-मुस्लिम एकता की बात छोड़ दें तो मैं आजादी को छोड़ दूंगा, लेकिन हिंदू मुस्लिम एकता नहीं छोड़ूँगा क्योंकि अगर हमें स्वराज नहीं मिला तो यह भारत का नुकसान होगा लेकिन अगर हिंदू-मुस्लिम गठबंधन न रह सका तो ये संपूर्ण मानवता का नुकसान होगा।”
सत्या.श्रवण
जारी वार्ता