नयी दिल्ली, 01 जुलाई (वार्ता) कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी से आज एक साथ मुलाकात कर उनसे पद पर बने रहने की एक स्वर में अपील की।
पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, छत्तीसगढ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल तथा पुद्दुचेरी के मुख्यमंत्री वी नारायणसामी ने श्री गांधी से यहां उनके आवास पर मुलाकात की।
मुलाकात के बाद श्री गहलोत ने पत्रकारों से कहा कि मुख्यमंत्रियों की श्री गांधी के साथ बातचीत बहुत अच्छी रही। उनसे करीब दो घंटे तक बातचीत हुई जिसमें उन्हें पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं की इस भावना से अवगत कराया गया कि वे अध्यक्ष पद पर बने रहें। उन्होंने कहा “हमने श्री गांधी को कांग्रेस नेताओं तथा कार्यकर्ताओं और समर्थकों की भावनाओं से अवगत कराया है। मुझे लगता है कि कांग्रेस अध्यक्ष हमारी भावनाओं को समझेंगे और सही निर्णय लेंगे।”
श्री गहलोत ने कहा कि लोकसभा चुनाव में जीत हासिल करने के लिए भारतीय जनता पार्टी ने देशवासियों को राष्ट्रभक्ति के नाम पर गुमराह किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जीत हासिल करने के लिए सेना के नाम तक का इस्तेमाल किया। उन्होंने सेना के नाम पर राजनीति की और इसे चुनावी जीत का जरिया बनाया। उन्होंने चुनाव अभियान के दौरान विकास योजनाओं तथा आर्थिक कार्यक्रमों के बारे में कोई बात नहीं की। देश में बेरोजगारी की स्थिति बहुत गंभीर है लेकिन इसका जिक्र तक नहीं किया।
श्री कमलनाथ के मध्य प्रदेश से पार्टी अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने की पेशकश संबंधी सवाल पर श्री गहलोत ने कहा कि जब कोई व्यक्ति मुख्यमंत्री बनता है तो पार्टी के किसी पद पर होने की स्थिति में वह इस्तीफे की पेशकश कर देता है और उस पर आखिरी फैसला लेना पार्टी हाईकमान पर निर्भर है। इस दौरान श्री कमलनाथ भी श्री गहलोत की बगल में मौजूद थे।
गौरतलब है कि श्री गाँधी ने लोकसभा के चुनाव परिणाम घोषित होने के दो दिन बाद 25 मई को पार्टी की सर्वोच्च नीति निर्धारक इकाई कार्य समिति की बैठक में अध्यक्ष पद से इस्तीफे की पेशकश की थी लेकिन कार्य समिति ने एक स्वर में उनसे पद नहीं छोडने का आग्रह किया था। इसके बावजूद श्री गांधी अपने इस्तीफे पर अड़े हुए हैं। इसके बाद से उन्हें मनाने का सिलसिला जारी है और कांग्रेस के 150 से अधिक पदाधिकारियों ने उनके साथ एकजुटता जाहिर करते हुए अपने पदों से इस्तीफे दे दिए हैं।
अभिनव,उनियाल
वार्ता