लखनऊ, 15 अक्टूबर (वार्ता) डा0 ए पी जे अब्दुल कलाम ट्रस्ट उनके नाम से साइंस पार्क स्थापित करेगी,जिससे नई नश्ल उनके बारे में जानकारी हासिल कर सकेगी।
“विश्व छात्र दिवस” के मौके पर मंगलवार को यहां डा0 कलाम के 88वें जन्मदिन के अवसर आयोजित कार्यक्रम में ट्रस्ट के अध्यक्ष अब्दुल नसीर नासिर ने कहा कि ट्रस्ट ने फैसला किया है ,कि जिस शहर में एक से दो किलोमीटर क्षेत्र में पांच से अधिक स्कूल होंगे वहां पर श्री कलाम के नाम पर साइंस पार्क की स्थापना की जायेगी। जिससे आने वाली नश्ल श्री कलाम के विषय में जानकारी कर सकेगी।
श्री नासिर ने कहां, कि कलाम साहब की किताब ‘विंगस ऑफ फायर’ में प्रस्तावना अरुण तिवारी ने लिखा, जोकि कलाम साहब के साथ काम भी करते थे, उन्होंने लिखा जब मैं बिमार था और कलाम साहब देखने आये, तो कलाम सहाब ने मुझसे पूछा, तुम क्या चाहते हो, मैंने उनसे कहां मैं जीना चाहता हूं । तो कलाम साहब ने जानमाज़ बिछाकर वहीं नमाज़ पढ़ी और हमारे लिए दुआ की, और मै आज तक जिन्दा हूं।
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रुप प्रदेश के पूर्व राज्यपाल डा0 अज़ीज़ कुरैशी ने कहां जब मै 1984 में राष्ट्र की सुरक्षा कमेटी में सदस्य था और वहां मीटिंग होती रहती थी, जब वहां एक व्यक्ति कोने में बैठा चुप-चाप बस नोट किया करता था, कुछ बोलता नहीं था, जब मैने पता किसा ये कौन व्यक्ति है, तो पता चला इन का नाम ए.पी.जे अब्दुल कलाम है। जब ये एक बार भोपाल आये, तो कलाम सहाब के लिए बहुत बड़ा कार्यक्रम रखा गया, जब कलाम सहाब को पता चला, तो उन्होंने वह कैन्सिल करा दिया और केवल अनाथालय के बच्चों से मिलने की बात की, और वह सिर्फ बच्चों से ही मिले। उन्होंनेे श्री कलाम के नाम पर भोपाल में सांइस पार्क बनाने की घोषणा भी की।
इस मौके विशिष्ठ अतिथि डा0(ब्रिगेडीयर) टी.प्रभाकर ने कहां कि मैं अपने को खुशनसीब समझता हूॅं कि मुझे श्री कलाम के साथ वक़्त बिताने का मौक़ा मिला, जब उनका आपरेशन हुआ, तो मैं भी आपरेशन करने वालों में शामिल था, उनका व्यवहार ऐसा था, कि वह सबको अपना बना लेते थे।
इस अवसर पर प्रदीप जायवाल और अल्लन खान ने दिवंगत पूर्व राष्ट्रपति ड0 कलाम के नाम पर अमेठी में पहला पार्क खुद बनाने की बात कही । कार्यक्रम में डा0 राम मनोहर लोहिया विधि विश्वविद्यालय के सहायक प्रो0 डाक्टर अब्दुल्ला नासिर ने संयुक्त राष्ट्र संघ का धन्यवाद दिया जिसने भारत में जन्मे डा़ कलाम के जन्मदिन को विश्व छात्र दिवस के रुप में बनाने का 15 अक्टूबर 2010 में ऐलान किया था।
त्यागी
वार्ता