भारतPosted at: Jun 15 2019 9:35PM जल विवाद: कैप्टन अमरिंदर की नदी जल न्यायाधिकरण की मांग
नयी दिल्ली 15 जून (वार्ता) पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने उत्तर भारत में जल संकट पर चिंता व्यक्त करते हुए आज प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से राज्य में जल वितरण संबंधी ढांचागत सुविधाओं के उन्नयन तथा पडोसी राज्यों के साथ जल विवादों के समाधान के लिए नदी जल न्यायाधिकरण की मांग की।
कैप्टन सिंह अस्वस्थ होने के कारण यहां नीति आयोग की संचालन परिषद की पांचवीं बैठक में शामिल नहीं हो सके लेकिन सदस्यों को वितरित उनके भाषण में राज्यों के बीच जल संबंधी विवादों के समाधान के लिए नदी न्यायाधिकरण का सुझाव दिया गया। उन्होंने प्रधानमंत्री से कर्ज के बोझ तले दबे किसानों की मदद के लिए एकमुश्त छूट देने का भी अनुरोध किया।
उन्होंने केन्द्र से किसानों को प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना के तहत हर साल दिये जाने वाले 6000 रूपये की सहायता राशि को 12 हजार रूपये किये जाने तथा कृषि श्रमिकों को भी इसके दायरे में लाने की मांग की। उन्होंने राज्य की ‘पानी बचाओ पैसा कमाओ’ योजना पर नीति आयोग के रूख की सराहना की।
मुख्यमंत्री ने राज्य के सीमावर्ती क्षेत्रों के विकास को राष्ट्रीय जिम्मेदारी बताते हुए इससे संबंधित सहायता का भी मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि केन्द्र ने इन क्षेत्रों के लिए विशेष पैकेज की दिशा में कोई कदम नहीं उठाया। इस बीच उन्होंने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर राज्य में भूजल के अत्यधिक दोहन का मुद्दा भी उठाया है। उन्होंने कहा कि यह दोहन रिचार्ज जल के 168 फीसदी तक पहुंच गया है।
कैप्टन सिंह ने राज्य में जल वितरण संबंधी ढांचागत योजनाओं के लिए पर्याप्त राशि मुहैया कराने का भी अनुरोध किया।