नयी दिल्ली 14 नवंबर (वार्ता) विनिर्मित उत्पादों, ईंधन और बिजली की कीमतों में आयी तेजी से थोक मूल्य आधारित मुद्रास्फीति की दर अक्टूबर में बढ़कर 5.28 प्रतिशत हाे गयी जबकि सितंबर में यह आंकड़ा 5.13 प्रतिशत और पिछले साल के समान माह में 3.68 प्रतिशत रहा था।
इससे पहले अगस्त 2018 में सब्जियों, फलों, दालों और चीनी के दाम घटने से थोक महंगाई की दर घटकर चार माह के निचले स्तर 4.53 प्रतिशत रही थी लेकिन इसके बाद इसमें लगातार दूसरे माह तेजी दर्ज की गयी है। चालू वित्त वर्ष में अब तक थोक महंगाई की औसत दर 4.64 प्रतिशत रही है। पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में यह 2.12 प्रतिशत दर्ज की गयी थी।
इससे पहले 12 नवंबर को जारी आंकड़ों के अनुसार, सब्जियों, दालों,चीनी और पेय पदार्थों की कीमतों में आयी गिरावट से अक्टूबर में खुदरा मुद्रास्फीति की दर घटकर 3.31 प्रतिशत रही थी।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय द्वारा आज जारी आंकड़ों के अनुसार, थोक महंगाई में आयी इस बढोतरी की मुख्य वजह ईंधन एवं बिजली तथा विनिर्मित उत्पादों के महंगाई दर में आयी बढ़त है।
अर्चना
जारी वार्ता