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खट्टर ने रोडवेजकर्मियों से हड़ताल समाप्त करने की अपील की

चंडीगढ़ 20 अक्तूबर (वार्ता) हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने पिछले पांच दिनों से हड़ताल पर चल रहे हरियाणा रोडवेज कर्मचारी यूनियनों के प्रतिनिधियों एवं पदाधिकारियों से आज अपील की कि वे आम जनता की कठिनाई व त्यौहारों के मौसम को देखते हुए हड़ताल समाप्त कर काम पर लौट आएं।
श्री खट्टर ने यहां जारी बयान में कहा कि सरकार उनके साथ वार्तालाप के लिए सदैव तैयार है। उन्होंने इसीके साथ सभी यूनियन पदाधिकारियों से रविवार (21 अक्तूबर) को दोपहर बारह बजे महानिदेशक, राज्य परिवहन, के चंडीगढ़ स्थित कार्यालय में महानिदेशक एवं अन्य अधिकारियों के साथ वार्तालाप के लिए आने की अपील की और आश्वासन दिया कि बातचीत के जरिये आपसी सौहार्द बनाये रखते हुए उनकी सभी जायज़ मांगे पूरी करने के लिए सहानुभूतिपूर्वक शीघ्र कार्यवाही की जाएगी।
उन्होंने कहा कि लगातार पांच दिन से चल रही हड़ताल से जन साधारण को रोजमर्रा के कामों के लिये बड़ी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। इससे न केवल रोडवेज कर्मचारी यूनियनों, परिवहन विभाग बल्कि राज्य सरकार की छवि भी जनता में खराब हो रही है। उन्होंने कहा, “यह हम सबका संवैधानिक एंव नैतिक दायित्व है कि हमारे किसी कृत्य से आम जनता को कोई परेशानी न हो। त्यौहार के मौके पर यदि लोगों को हरियाणा राज्य परिवहन की सस्ती, सुलभ तथा विश्वसनीय परिवहन सेवा नहीं मिलेगी तो जनता का आक्रोश फूट पड़ना स्वाभाविक है।“
श्री खट्टर ने स्पष्ट करना चाहा कि हरियाणा राज्य कर्मचारी यूनियनों के प्रतिनिधियों को जो आशंका है कि निजी बस मालिकों से 700 बसें किराए पर लेकर चलाने से विभाग का निजीकरण हो जाएगा तथा विभाग के कर्मचारियों की छंटनी होगी, उसमें कोई सच्चाई नहीं है क्योंकि निजी बस मालिकों से किराए पर ली जाने वाली बसों पर परिचालक परिवहन विभाग का होगा तथा इस तरह विभाग में नार्म के अनुसार ही इन बसों पर 980 अतिरिक्त परिचालकों की भर्ती होगी। इन बसों में सफर करने वाले यात्रियों से टिकटों से होने वाली आय सरकारी खजाने में जमा होगी। बस मालिकों को केवल निर्धारित दर से (जो विभिन्न डिपो में 31.01 रुपये से लेकर 37.30 रुपये है) प्रति किलोमीटर की दर से भुगतान किया जायेगा। यह कोई स्टेज कैरिज अथवा कोंट्रेक्ट कैरिज स्कीम नहीं है। यह केवल पब्लिक प्राईवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) के अन्तर्गत हरियाणा राज्य परिवहन के बेडे में 700 अतिरिक्त बसें शामिल करने के लिए किया जा रहा है ताकि आम जनता को सस्ते किराए पर, समय पर, विश्वसनीय तथा सुलभ परिवहन सेवा उपलब्ध करवाई जा सके।
उन्होंने कहा कि यहां यह भी बताना उचित होगा कि प्रति किलोमीटर दर पर किराए पर ली जाने वाली बसों को कोई परमिट नहीं दिया जा रहा है तथा ये बसें हरियाणा रोड़वेज की बसों के परमिट व निर्धारित मार्गों पर ही चलेंगी। फिर भी कुछ यूनियन पदाधिकारी/प्रतिनिधि इस आशंका के कारण हड़ताल कर रहे हैं।
उन्होंने दावा किया कि राज्य सरकार सदैव कर्मचारियों का हित चाहती है लेकिन प्रदेश की जनता को बेहतर सुविधाएं देना सरकार की प्राथमिकता एंव नैतिक जिम्मेवारी भी है।
महेश विक्रम
वार्ता
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