वाराणसी, 19 जुलाई (वार्ता) कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा को शुक्रवार सोनभद्र ‘नरसंहार’ कांड के पीड़ित परिजनों से उनके घर जाने से रोकने पर वाराणसी में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने लहुराबीर चौराहे पर धरना-प्रदर्शन किया।
कांग्रेस नेता प्रजानाथ शर्मा ने राज्य की योगी आदित्यनाथ पर ‘तानाशही’ का रवैया अपनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि श्रीमती वाड्रा को सोनभद्र ‘नरसंहार’ के पीड़ित परिजनों से मिलने से रोकना ‘लोकतंत्र की हत्या’ जैसा कदम है। प्रदेश की भाजपा सरकार ने कांग्रेस महासचिव को सामाजिक एवं लोकतांत्रिक कर्तव्यों का निर्वहन करने से रोकने के लिए पुलिस का सहारा लिया है। सरकार के इस रवैये की जिनती भी निंदा की जाए, वह कम है। कांग्रेस नेता शैलेंद्र सिंह ने चेतावनी दी कि सरकार ने श्रीमती वाड्रा को सोनभद्र नहीं जाने से रोकने का फैसला नहीं बदला दिया तो आंदोलन तेज किया जाएगा।
श्रीमती वाड्रा यहां काशी हिंदू विश्वविद्यालय (बीएचयू) के ट्रॉमा सेंटर में भर्ती सोनभद्र ‘नरसंहार’ कांड में घायल लोगों से मुलाकात कर उनकी तबीयत के बारे में जानकारी ली तथा उनके शीध्र स्वस्थ्य होने की कामना की थी।
उन्होंने बीएचयू अस्पताल में घायलों से मुलाकात के बाद वह घटना स्थल उत्तर प्रदेश के सोनभद्र के उभ्भा गांव के लिए रवाना हो गईं, लेकिन उन्हें वाराणसी-सोनभद्र सीमा के पास पुलिस ने रोक दिया। उन्हें कहा गया कि निषेधाज्ञा लागू होने के कारण रोका गया है। इसके बाद वह पार्टी कार्यकर्ताओं एवं समर्थकों के साथ सड़क पर ही धरने बैठ गईं। जहां से उन्हें मीर्जापुर स्थित चुनार गेस्ट हाउस ले जाया गया।
श्रीमती वाड्रा के साथ कांग्रेस के पूर्व विधायक अजय राय समते कई नेता मौजूद थे।
गौरतलब है कि जमीन विवाद को लेकर गत बुधवार को गांव की तीन महिलाओं समेत 10 आदिवासियों की अंधाधुंध गोलीबारी कर हत्या कर दी गई थी। इस निर्मम घटना में 24 से अधिक लोग धायल हो गए थे, जिनका इलाज वाराणसी और सोनभद्र के विभिन्न अस्पतालों में चल रहा है। पुलिस ने इस मामले में वहां के ग्राम प्रधान प्रज्ञदत्त समेत 28 नामजद समेत 50 लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है। इनमें से मुख्य आरोपी प्रज्ञदत्त समेत 28 लोग गिरफ्तार किये गए हैं। इनमें 12 नामजद आरोपी शामिल हैं।
इस बीच, पुलिस सूत्रों ने बताया कि वाराणसी (कैंट) रेलवे स्टेशन से एक आरोपी कोमल सिंह को हिरासत में लिया गया है, जो भदोही रेलवे स्टेशन के अधीक्षक बताये जाते हैं।
बीरेंद्र त्यागी
वार्ता