राज्य » पंजाब / हरियाणा / हिमाचलPosted at: Nov 14 2018 9:24PM सरकारी विश्वविद्यालय अनुसूचित जाति के छात्रों से फीस न लें: पुकाअमृतसर 14 नवंबर (वार्ता) पंजाब अनएडेड कॉलेजिस एसोसिएशन (पुका) और पंजाब अनएडिड टेक्निकल इंस्टीट्यूशंस एसोसिएशन (पुटिया) के प्रतिनिधिमण्डल की बुधवार को कहा कि सरकार की ओर से पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप (पीएमएस) की राशि जारी होने तक अनुसूचित जाति के छात्रों से फीस नहीं ली जाये। दोनों एसोसिएशनों ने राज्य के सभी मान्यताप्राप्त सरकारी विश्वविद्यालयों और बोर्ड जिनमें आईकेजी-पीटीयू जालंधर, एमआरएस-पीटीयू बठिंडा, पंजाबी यूनिवर्सिटी पटियाला, पीएसबीटीई- आईटी और अन्य विश्वविद्यालयों से अपील की है कि जब तक पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप (पीएमएस) की बकाया राशि सरकार की ओर से जारी नहीं की जाती अनुसूचित जाति के छात्रों की किसी भी तरह की फीस ना ली जाए । पुका के अध्यक्ष डॉ. अंशु कटारिया ने कहा कि अनुसूचित जाति के विद्यार्थियों का पिछले तीन वर्षों से 1600 करोड़ से अधिक राशि सरकार की ओर लंबित है जिसे अभी तक महाविद्यालयों को चुकाया नहीं गया है। उन्होंने 2015-16 का लगभग 325 करोड़, 2016-17 का 715 करोड़, 2017-18 का 600 करोड़ और वर्ष 2018-19 का लगभग 500 करोड़ से अधिक राशि बकाया है। पुटिया के अध्यक्ष डॉ. जे एस धालीवाल ने कहा कि मान्यता प्रदान करने वाले विश्वविद्यालय कॉलेज से मान्यता फीस, दाखिला फीस, परीक्षा फीस एवं विद्यार्थियों से संबंधित फीस (एसआरएफ) लेते हैं परन्तु कॉलेज भारी वित्तीय संकट का सामना कर रहे है जिसके कारण वह विश्वविद्यालयों को यह फीस अदा नहीं कर पा रहे है। पुटिया के उपाध्यक्ष मनजीत सिंह ने कहा कि कॉलेज पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप राशि जारी करवाने के लिए प्रयत्न कर रहे है। एक तरफ तीन लाख से ज्यादा छात्रों को पोस्ट मैट्रिक स्कॉलरशिप की प्रतिपूर्ति नहीं हुई है और दूसरी तरफ पंजाब टेक्निकल यूनिवर्सिटी (पीटीयू), बठिण्डा और जालंधर एवं पंजाब स्टेट बोर्ड ऑफ टेक्निकल एजुकेशन एंड इण्डस्ट्रियल ट्रेनिंग कॉलेजों से मान्यता फीस चार्ज कर रही है। ठाकुर, उप्रेतीवार्ता