राज्य » जम्मू-कश्मीरPosted at: Jun 16 2025 10:01PM कश्मीरी अभिभावकों ने ईरान में अध्ययनरत छात्रों को तत्काल निकालने का प्रधानमंत्री से किया आग्रहश्रीनगर 16 जून (वार्ता) जम्मू कश्मीर में बड़ी संख्या में अभिभावकों ने ईरान और इजरायल के बीच लगातार बढ़ते तनाव के बीच ईरान में अध्ययनरत अपने बच्चों को निकालने में तेजी लाने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और विदेश मंत्री एस जयशंकर से सोमवार को अपील की।अभिभावकों का कहना है कि उनके बच्चे बढ़ती दहशत के बीच , खासकर रविवार को तेहरान यूनिवर्सिटी ऑफ मेडिकल साइंसेज के पास इजरायली हवाई हमले में कथित तौर पर तीन कश्मीरी छात्रों के घायल होने के बाद घबराए हुए फोन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि ईरान में रहने वाले एक छात्र ने नाम न बताने की शर्त पर कहा कि तीनों को मामूली चोटें आयी है।अनुमान है कि 1,500 कश्मीरी छात्र वर्तमान में ईरान में एमबीबीएस की डिग्री की पढ़ाई कर रहे हैं। इनमें से बड़ी संख्या में छात्र राजधानी तेहरान में रहते हैं।श्रीनगर में रहने वाले एक चिंतित अभिभावक ने कहा, “इजरायली हवाई हमले शुरू होने के बाद से अब तक तीन रातों से हम सोए नहीं हैं। हम अपने बच्चों के साथ लगातार संपर्क में हैं। हम भारत सरकार के प्रयासों की सराहना करते हैं, लेकिन माता-पिता के रूप में हम आग्रह करते हैं कि निकासी प्रक्रिया में तेजी लायी जाए।”एक अभिभावक ने कहा कि कई छात्रों को तेहरान से लगभग 150 किलोमीटर दूर क़ोम शहर में स्थानांतरित कर दिया गया है, जबकि अन्य को अर्मेनियाई सीमा के पास के क्षेत्रों में ले जाया गया है।श्रीनगर में प्रेस एन्क्लेव में लगातार दूसरे दिन एकत्र हुए अभिभावकों के समूह ने ईरान में फंसे हुए छात्रों को तुरंत निकालने की मांग की।इस बीच जम्मू कश्मीर छात्र संघ ने भी प्रधानमंत्री कार्यालय और विदेश मंत्रालय को तत्काल हस्तक्षेप करने की अपील जारी की।जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने पहले ही विदेश मंत्री के समक्ष इस मामले को उठाया है और ईरान में छात्रों की सुरक्षा और हित में पहल करने की मांग की है। पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी प्रमुख एवं पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने भी अपनी चिंता जतायी है। उन्होंने कहा, “ईरान में फंसे छात्रों के परिवार हर गुजरते दिन के साथ चिंता में बढ़ते जा रहे हैं। मैं विदेश मंत्रालय से आग्रह करती हूं कि वह हस्तक्षेप करे और अपने प्रियजनों की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने के लिए तत्काल कदम उठाए।”अशोकवार्ता