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प्रतिष्ठित एमसीईएमई का 107 वां दीक्षांत समारोह

हैदराबाद, 19 जून (वार्ता) आंध्र प्रदेश में सिकंदराबाद स्थित ‘मिलिट्री कॉलेज ऑफ इलेक्ट्रॉनिक्स एंड मैकेनिकल इंजीनियरिंग’ (एमसीईएमई) के कमांडेंट लेफ्टिनेंट जनरल नीरज वार्ष्णेय ने समकालीन और भविष्य के युद्ध में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई), ड्रोन रोबोटिक्स, मशीन लर्निंग और मानव रहित प्रणालियों जैसी उन्नत तकनीकों की बढ़ती प्रासंगिकता पर जोर दिया है।
लेफ्टिनेंट जरनल वार्ष्णेय आज एमसीईएमई में तकनीकी प्रवेश योजना (टीईएस) कोर्स-43 के अधिकारियों को बी.टेक. डिग्री प्रदान करने के लिए आयोजित 107वां दीक्षांत समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा,“एमसीईएमई में दिया जाने वाला प्रशिक्षण यह सुनिश्चित करता है कि हमारे अधिकारी तकनीकी और परिचालन उत्कृष्टता के मामले में सबसे आगे रहें क्योंकि जिन देशों के पास तकनीक है वे ही दुनिया पर अपना दबदबा कायम रखेंगे।”
इस अवसर पर समारोह को संबोधित करते हुए भारतीय प्रबंधन संस्थान (आईआईएम) इंदौर के निदेशक प्रोफेसर हिमांशु राय ने सैन्य और नागरिक दोनों क्षेत्रों में चरित्र, नैतिक नेतृत्व और बौद्धिक चपलता की भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने स्नातक अधिकारियों को बधाई देते हुए ऑपरेशन सिंदूर में सशस्त्र बलों द्वारा की गई उत्कृष्ट प्रदर्शन का उल्लेख किया। वह इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि थे।
समारोह के दौरान 20 अधिकारियों को बैचलर ऑफ टेक्नोलॉजी की डिग्री प्रदान की गई। एमसीईएमई में शैक्षणिक कार्यक्रम युवा अधिकारियों को आधुनिक सैन्य अभियानों के लिए आवश्यक तकनीकी विशेषज्ञता से लैस करने के लिए डिज़ाइन किए गए हैं।
इस दौरान लेफ्टिनेंट डी सुभाष को सर्वश्रेष्ठ ऑल-राउंड छात्र अधिकारी का डीजीईएमई गोल्ड मेडल और जीओसी-इन-सी एआरटीआरएसी ट्रॉफी प्रदान किया गया। लेफ्टिनेंट अभिनव नायर और लेफ्टिनेंट आदर्श कुमार सिंह को मैकेनिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स स्ट्रीम में प्रथम स्थान प्राप्त करने पर कमांडेंट सिल्वर मेडल से सम्मानित किया गया।
नवनी,आशा
वार्ता