Thursday, May 9 2024 | Time 12:08 Hrs(IST)
image
राज्य


देवव्रत की अध्यक्षता में बनास डेयरी में प्राकृतिक कृषि संवाद आयोजित

देवव्रत की अध्यक्षता में बनास डेयरी में प्राकृतिक कृषि संवाद आयोजित

पालनपुर, 09 अप्रैल (वार्ता) गुजरात में बनासकांठा जिले के सणादर में स्थित बनास डेयरी में राज्य के राज्यपाल आचार्य देवव्रत की अध्यक्षता में मंगलवार को प्राकृतिक कृषि संवाद का आयोजन किया गया।

श्री देवव्रत ने डेयरी में आईसक्रीम प्लांट तथा पोटेटो प्लांट की मुलाकात लेकर जानकारी प्राप्त की। भारतीय नववर्ष- चैत्र माह के आरम्भ में शुभकामनाएं देते हुए उन्होंने बनास डेयरी में भारी संख्या में आए पशुपालकों और किसानों को प्राकृतिक कृषि पर विस्तृत जानकारी दी और प्राकृतिक कृषि की ओर लौटने का अनुरोध किया।

राज्यपाल ने इस अवसर पर कहा कि आज बनासकांठा जिले के अनेक किसान एकता, संगठन और सहकारिता की भावना के साथ खूब प्रगति कर रहे हैं और बढ़िया आय प्राप्त कर रहे हैं। यह बनास डेयरी के माध्यम से इसके अध्यक्ष शंकरभाई चौधरी के नेतृत्व में हुआ है। आज दुनिया की सबसे बडी समस्या ग्लोबल वार्मिंग है, जिससे मानव जीवन को बहुत बड़ा नुकसान हो रहा है। इससे प्राकृतिक कृषि ही बचा सकती है। न्युयार्क की एक अंतर्राष्ट्रीय न्यूज एजेंसी द्वारा जारी आंध्रप्रदेश की संशोधनात्मक रिपोर्ट पर उन्होंने कहा कि भारी वर्षा से खेतों में ज्यादा पानी भर जाता है, जिसके कारण जमीन और फसलों को बहुत नुकसान होता है। जबकि रासायनिक खेती करने वाले किसानों को बहुत कम नुकसान होता है।

जैविक खेती और प्राकृतिक खेती के बीच अंतर स्पष्ट करते हुए उन्होंने प्राकृतिक खेती के लाभ और महत्व को काफी सरल भाषा में समझाया। डीएपी और यूरिया जैसी रासायनिक खाद के उपयोग से जमीन की सतह बहुत सख्त बन जाती है, जिससे पानी नहीं सोख पाती और पानी खेतों में भर जाता है। इसके कारण खेत बंजर और अनुपजाऊ बन जाता है। रासायनिक खाद और कीटनाशक दवाओं के अंधाधुंध उपयोग से कैंसर सहित गम्भीर रोगों का खतरा बना रहता है। जबकि प्राकृतिक खेती से जमीन पर पानी नहीं भरता और उसे जमीन सोख लेती है और जमीन मुलायम एवं उपजाऊ बनती है।

राज्यपाल ने कहा कि खेती लायक जमीन और कृषि को बचाना है तो देसी गाय आधारित प्राकृतिक खेती ही श्रेष्ठ विकल्प है। प्राकृतिक खेती पद्धति और जीवामृत बनाने की पद्धति समझाकर उन्होंने लोगों से रासायनिक खाद का उपयोग छोड़कर तन्दुरुस्त जीवन के लिए प्राकृतिक कृषि पद्धति अपनाने का अनुरोध किया।

बनास डेयरी के चेयरमैन एवं विधानसभा अध्यक्ष शंकरभाई चौधरी ने ऋषितुल्य जीवन जीने वाले राज्यपाल आचार्य देवव्रत का स्वागत करते हुए कहा कि उन्होंने गांव-गांव पहुंचकर गाय आधारित प्राकृतिक खेती द्वारा मानव जीवन को सुरक्षित करने का अभियान चलाकर जीवन परिवर्तन करने का बड़ा कार्य किया है। उन्होंने कहा कि प्राकृतिक खेती से किसानों को बहुत लाभ होगा और नागरिकों को जहरमुक्त आहार उपलब्ध होगा।

श्री चौधरी ने बनासकांठा के नागरिकों से इस कार्य को आगे ले जाने की अपील करते हुए कहा कि प्राकृतिक कृषि को गति मिले, इस उद्देश्य से प्राकृतिक आहार की ब्रांडिंग बनास डेयरी के माध्यम से की जाती है। आज बनास डेयरी के माध्यम से एक करोड़ से ज्यादा वृक्ष लगाकर उनका जतन किया जा रहा है। बनास डेयरी गाय के गोबर में से सीएनजी तैयार करके उसका विक्रय करती है। जापान की कम्पनी के साथ एमओयु किया गया है, जिससे किसान दूध की तरह ही गोबर से भी आय प्राप्त कर रहे हैं। कार्यक्रम में बनास डेयरी के वाइस चेयरमैन भावाजीभाई रबारी, एमडी संग्रामभाई चौधरी सहित भारी तादाद में किसान और पशुपालक उपस्थित रहे।

अनिल.संजय

वार्ता

image