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बिजनेस


अंतर्राष्ट्रीय हवाई परिवहन संघ (आयटा) ने भी पिछले महीने जारी रिपोर्ट में आशंका जताई थी कि कच्चे तेल के बढ़ते दाम के कारण सस्ते हवाई किराये के दिन लद सकते हैं। रिपोर्ट में कहा गया था कि लागत बढ़ने से - विशेषकर विमान ईंधन के मद में - कम किराये के कारण विमानन क्षेत्र को मिली रफ्तार पर अंकुश लग सकता है। इसलिए वर्ष 2017 की तुलना में वृद्धि दर में लगातार गिरावट की अपेक्षा है।
उल्लेखनीय है कि इस साल अप्रैल-जून की तिमाही में जेट एयरवेज को 1,323 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। इस दौरान विमान ईंधन के मद में कंपनी का कुल खर्च 53.03 प्रतिशत बढ़कर 2,332.49 करोड़ रुपये पर पहुँच गया। पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में उसने 53.50 करोड़ रुपये का शुद्ध मुनाफ कमाया था।
स्पाइसजेट को भी 14 तिमाहियों में पहली बार नुकसान हुआ है। उसने 38.06 करोड़ रुपये का नुकसान उठाया। तिमाही में विमान ईंधन पर उसका खर्च 52 प्रतिशत बढ़कर 812.44 करोड़ रुपये पर पहुँच गया। पिछले वित्त वर्ष की पहली तिमाही में इस मद में एयरलाइन का व्यय 534.37 करोड़ रुपये रहा था।
इंडिगो का शुद्ध मुनाफा 96.57 प्रतिशत घटकर 27.79 करोड़ रुपये रह गया। पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में कंपनी ने 811.15 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया था। विमान ईंधन पर कंपनी का खर्च तिमाही के दौरान 54.37 प्रतिशत बढ़कर 2,715.65 करोड़ रुपये पर पहुँच गया।
अजीत/शेखर
वार्ता
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मारुति सुजुकी का शुद्ध लाभ चौथी तिमाही में 48 प्रतिशत बढा

मारुति सुजुकी का शुद्ध लाभ चौथी तिमाही में 48 प्रतिशत बढा

26 Apr 2024 | 7:14 PM

नयी दिल्ली 26 अप्रैल (वार्ता) देश की सबसे बड़ी कार निर्माता मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटेड को वित्त वर्ष 2023-24 की जनवरी-मार्च तिमाही में एकल शुद्ध लाभ 47.80 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 3,877.8 करोड़ रुपये रहा जबकि इससे पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में यह 2623.6 करोड़ रुपये रहा था।

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