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तमिलनाडु : प्रमुख नेताओं ने किए नामांकन पत्र दाखिल

चेन्नई 25 मार्च (वार्ता) तमिलनाडु में लोकसभा चुनाव के लिए 19 अप्रैल को होने वाले मतदान के वास्ते नामांकन बंद होने में सिर्फ दो दिन बचे हैं, इसे देखते हुए विभिन्न राजनीतिक दलों के प्रमुख उम्मीदवारों ने सोमवार को अपने नामांकन पत्र दाखिल किए।
नामांकन दाखिल करने वालों में द्रमुक के नेतृत्व वाले धर्मनिरपेक्ष प्रगतिशील गठबंधन, विपक्षी अन्नाद्रमुक, भाजपा और नाम तमिझार काची (एनटीके) सहित विभिन्न राजनीतिक दलों के प्रमुख उम्मीदवार शामिल हैं। उम्मीदवारों ने अपने संबंधित रिटर्निंग अधिकारियों के समक्ष अपने कागजात दाखिल किए।
तमिलनाडु की सभी 39 सीटों और केंद्र शासित प्रदेश पुड्डुचेरी की एकमात्र सीट तथा विलावनकोड विधानसभा सीट पर उपचुनाव के लिए एक चरण में मतदान 19 अप्रैल को होगा। विलावनकोड विधानसभा सीट मौजूदा कांग्रेस विधायक के इस्तीफे के बाद खाली हो गई थी।
नामांकन दाखिल करने के दौरान दो प्रमुख द्रविड़ ताकतों, द्रमुक और अन्नाद्रमुक के कार्यकर्ताओं के बीच कुछ मामूली झड़पें, धक्का-मुक्की और तीखी बहस देखी गई। वहीं नीलगिरी (सु.) सीट पर पुलिस को हल्के लाठीचार्ज का सहारा लेना पड़ा, जहां केंद्रीय मंत्री और भाजपा उम्मीदवार एल.मुरुगन ने अपना नामांकन दाखिल किया।
नामांकन के दौरान शहर की दक्षिण चेन्नई सीट पर द्रमुक और भाजपा उम्मीदवारों के बीच सौहार्द भी देखा गया।
दूसरी बार अपनी सीट बरकरार रखने की कोशिश कर रही द्रमुक उम्मीदवार सुश्री थंगाची तमीजपांडियन ने अपना पर्चा दाखिल किया और चुनाव कार्यालय से बाहर आईं। उन्होंने भाजपा उम्मीदवार तमीलीसाई सौंदरराजन को देखा, जिन्होंने राज्यपाल पद से इस्तीफा दे दिया और सक्रिय राजनीति में लौट आई थीं, जो अपना नामांकन दाखिल करने का इंतजार कर रही थीं।
गर्मजोशी से गले मिलने के बाद, राजनीतिक रूप से अलग-अलग विचारधारा होने के बावजूद, दोनों ने एक-दूसरे का अभिवादन किया और हाथ मिलाकर एक-दूसरे का अभिवादन किया, जो एक स्वस्थ प्रवृत्ति का संकेत है।
पर्चा दाखिल करने वालों में वेल्लोर से मौजूदा सांसद कथिर आनंद, वीसीके नेता रविकुमार (विलुप्पुरम-रिजर्व), वरिष्ठ कांग्रेस नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदंबरम के बेटे कार्ति चिदंबरम (शिवगंगा) शामिल हैं।
चुनाव आयोग के सूत्रों ने बताया कि अब तक 125 से अधिक उम्मीदवार अपना पर्चा दाखिल कर चुके हैं। इनमें सात महिलाएं भी शामिल हैं।
नए चेहरे, जो पहली बार अपनी चुनावी किस्मत आजमा रहे हैं, उनमें पीएमके संस्थापक डॉ. एस. रामदास की बहू सुश्री सौम्या अंबुमणि, दिवंगत अभिनेता-राजनेता और डीएमडीके संस्थापक विजयकांत के बेटे विजया प्रभाकरन तथा अभिनेता सरथकुमार की पत्नी राधिका सरथकुमार भी शामिल हैं।
पूर्व केंद्रीय मंत्री और राज्यसभा सांसद डॉ. अंबुमणि रामदास की पत्नी डॉ. सौम्या इस बार कुड्डालोर से चुनाव लड़ रही हैं। सुश्री सौम्या और सुश्री राधिका भाजपा गठबंधन के हिस्से के रूप में चुनाव लड़ रही हैं, जबकि विजया प्रभाकरण अन्नाद्रमुक के नेतृत्व वाले मोर्चे के उम्मीदवार के रूप में चुनाव का सामना कर रहे हैं।
इस बीच, नीलगिरी जिले में तनाव व्याप्त हो गया, जब श्री मुरुगन और अन्नाद्रमुक के लोकेश तमिलसेल्वन, जो पूर्व विधानसभा अध्यक्ष पी.धनपाल के बेटे हैं, अपना पर्चा दाखिल करने आए। जैसे ही अन्नाद्रमुक कार्यकर्ताओं ने नारे लगाए और भाजपा कार्यकर्ता भी जवाबी नारेबाजी में शामिल थे, पुलिस ने उन्हें तितर-बितर करने के लिए हल्का बल प्रयोग किया, जिससे तनाव पैदा हो गया।
नामांकन पत्र दाखिल करने के लिए भाजपा द्वारा नियोजित जुलूस का विरोध करने वाले अन्नाद्रमुक कैडर भी पुलिस के साथ तीखी बहस में शामिल थे। पुलिस ने भाजपा कार्यकर्ताओं से नामांकन पत्र दाखिल करने की प्रक्रिया जल्द पूरी करने का अनुरोध किया तो उन्होंने इसका विरोध किया।
वहीं श्री मुरुगन और श्री अन्नामलाई ने भी पुलिस के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए सड़क नाकाबंदी आंदोलन किया।
इस बीच, द्रमुक और अन्नाद्रमुक के कार्यकर्ता उत्तरी चेन्नई निर्वाचन क्षेत्र में एक-दूसरे के साथ धक्का-मुक्की और मौखिक द्वंद्व में शामिल थे, जहां मौजूदा सांसद कलानिधि वीरासामी फिर से चुनाव लड़ रहे हैं। अन्नाद्रमुक ने रोयापुरम मानो को मैदान में उतारा है और भाजपा ने इस सीट के लिए अपने कानूनी विंग के नेता पॉल कंगाराज को नामांकित किया है। चूंकि द्रमुक और अन्नाद्रमुक दोनों उम्मीदवार अपना नामांकन पत्र दाखिल करने के लिए एक ही समय पर इकट्ठे हुए थे, इसलिए बहस छिड़ गई कि पहले पर्चा कौन दाखिल करेगा। पॉल कंगाराज भी अपना पर्चा दाखिल करने आये।
अधिकारियों ने उन्हें शांत किया और अन्नाद्रमुक उम्मीदवार ने पहले अपना पर्चा दाखिल किया और उसके बाद द्रमुक उम्मीदवार ने अपना पर्चा दाखिल किया। चूंकि पॉल कंगाराज अपने कागजात दाखिल करने के लिए लंबे समय से इंतजार कर रहे थे, इसलिए भाजपा कार्यकर्ताओं ने देरी का हवाला देते हुए पुलिस के साथ बहस की। बाद में उन्होंने अपना पर्चा दाखिल कर दिया।
नामांकन पत्र दाखिल करने की अंतिम तारिख 27 मार्च है। इस कारण भी अगले दो दिनों में और अधिक उम्मीदवारों द्वारा अपना पर्चा दाखिल करने की उम्मीद है। नामांकन पत्रों की जांच 28 मार्च को होगी और नाम वापस लेने की आखिरी तारीख 30 मार्च है।
संजय
वार्ता
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