Thursday, May 9 2024 | Time 00:16 Hrs(IST)
image
राज्य » पंजाब / हरियाणा / हिमाचल


हिरासत में मौतों की उच्च न्यायालय की देखरेख में हो जांच, जेलमंत्री हों बर्खास्त : शिअद

चंडीगढ़, 22 जुलाई (वार्ता) शिरोमणि अकाली दल (शिअद) ने अमृतसर जेल में हेरोइन तस्करी के एक आरोपी की मौत समेत न्यायिक हिरासत में ‘हाइ प्रोफाइल‘ आरोपियों की होने वाली मौतों की पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय की निगरानी में जांच करवाने की मांग की है और जेल मंत्री सुखजिंदर रंधावा को बरखास्त किए जाने की मांग की है।
यहां जारी एक प्रेस बयान में पूर्व मंत्री महेशइंदर सिंह ग्रेवाल ने कहा कि 548 किलो हेरोइन जब्ती के मामले के प्रमुख आरोपी गुरपिंदर की अमृतसर जेल में हुई मौत ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं, जिनमें से सबसे प्रमुख सवाल यह है कि बेहद संवेदनशील मामलों के आरोपियों की पंजाब की जेलों में मौतें क्यों हो रही हैं।
उन्होंने कहा कि कितनी अजीब बात है कि गुरपिंदर का उचित इलाज तक नहीं करवाया गया। उन्होंने कहा कि यह देखने की जरूरत है कि क्या यह जानबूझकर करवाया गया था जैसाकि उसके परिजन आरोप लगा रहे हैं और क्या गुरपिंदर की मौत के पीछे कोई बड़ी साजिश है?
अकाली नेता ने कहा कि इससे पहले बेअदबी कांड के आरोपी महेंद्रपाल बिट्टू की नाभा जेल में हत्या की गई थी। उन्होंने आरोप लगाया कि बिट्टू को अलग सेल में रखने तथा बाकी कैदियों से दूर रखने के साफ निर्देर्शों के बावजूद जेल प्रशासन ने उसे अपने सेल से बाहर आने की आज्ञा दी थी। उन्होंने कहा कि लुधियाना जेल में भी एक मामला हुआ था, जिसमें कैदी की रहस्यमयी हालत में मौत हो गई थी तथा जिसके बाद इसके खिलाफ प्रदर्शन कर रहे कैदियों पर की गोलाबारी में अन्य एक कैदी की मौत हो गई थी। उन्होंने कहा कि इसी तरह पटियाला जेल में जबरन वसूली के मामले सामने आ चुके हैं, जहां गिरोहबाज जेल अधिकारियों से मिलकर कैदियों से बदफैली कर रहे थे।
श्री ग्रेवाल ने कहा कि इन सभी मामलों की अच्छी तरह जांच होनी चाहिए। उन्होंने आरोप लगाया कि पंजाब की जेलों में जंगल राज का बोलबाला है और यह इस बात का संकेत देता है कि जेलों में भ्रष्टाचार ने हाहाकार मचाई है तथा यहां साफ सुथरे प्रशासन नाम की कोई चीज नहीं बची है। उन्होंने कहा कि यह सब जेलमंत्री की नाक के नीचे हो रहा है, जिन्हें सिर्फ बयानबाजी करने का शौक है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह को श्री रंधावा के खिलाफ शीघ्र कार्रवाई करनी चाहिए।
महेश विक्रम
वार्ता
image