काठमांडू 31 अगस्त (वार्ता) बिम्सटेक देशों के प्रमुखों ने शुक्रवार को क्षेत्रीय समूहों को और अधिक प्रभावशाली बनाने का संकल्प लिया और इसके लिए संस्थागत सुधारों का फैसला किया।
दो दिवसीय बिम्सटेक शिखर सम्मेलन के अंतिम दिन काठमांडू घोषणा पत्र जारी किया गया, जिसके तहत आमतौर पर कम सक्रिय रहने के कारण आलोचना का शिकार बने बिम्सटेक देशों के प्रमुखों ने शुक्रवार को क्षेत्रीय समूहों काे और अधिक प्रभावशाली बनाने का संकल्प लिया और इसके लिए संस्थागत सुधारों का फैसला किया। इस सम्मेलन में शिरकत करने वाले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अन्य देशों के प्रमुखों ने बिम्सटेक सचिवालय को संगठन के चार्टर का प्रारंभिक मसौदा तैयार करने का काम सौंपा है।
बिम्सटेक की स्थायी कार्य समिति इस चार्टर की समीक्षा करेेगी और अन्य उच्चतर निकाय यह सुनिश्चित करने का प्रयास करेंगे कि इसे बिम्सटेक के अगले शिखर सम्मेलन में अपनाया जाये। इस शिखर सम्मेलन में बिम्सटेक के केंद्रों एवं इकाइयों और सचिवालय के प्रशासनिक तथा वित्तीय मामलों के लिए बिम्सटेक की स्थायी कार्य समिति की स्थापना का भी निर्णय लिया गया। अगले बिम्सटेक शिखर सम्मेलन की अध्यक्षता अब श्रीलंका को दी गयी है।
गौरतलब है कि बिम्सटेक क्षेत्रीय देशों का एक समूह है। भारत, बांग्लादेश, म्यांमार, श्रीलंका, थाईलैंड, भूटान और नेपाल इसके सदस्य देश हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने गुरुवार को बंगलादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना और श्रीलंका के राष्ट्रपति मैत्रीपाला सीरीसेना से मुलाकात की थी।
यामिनी, सुरेश
वार्ता