जयपुर, 01 अक्टूबर (वार्ता) राजस्थान के मुख्यमंती अशोक गहलोत ने देश में साम्प्रदायिक ताकतों के उभरने पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा है कि इससे लोकतंत्र को खतरा उत्पन्न हो गया है।
श्री गहलोत ने आज यहां महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर बिरला ऑडिटोरियम में आयोजित कांग्रेस के विशेष अधिवेशन में पार्टी के वरिष्ठ नेताओं, पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं को सम्बोधित करते हुए कहा कि वर्तमान में देश में साम्प्रदायिक सोच की विचारधारा के चलते भय का माहौल है, इससे लोकतंत्र संकट में आ गया है। जबकि पिछले 70 वर्षों में कांग्रेस की गांधीवादी विचारधारा के चलते देश में लोकतंत्र को मजबूती मिली और समय समय पर देश के प्रधानमंत्री बदलते रहे।
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान और भारत एक साथ स्वतंत्र हुए। पाकिस्तान में लोकतंत्र पनप नहीं पाया और वहां प्रधानमंत्री को फांसी भी दी गई, जबकि भारत में लोकतंत्र कायम है। यहां प्रधानमंत्री बदलते रहे, यह देश में लोकतंत्र की मजबूती है जो कांग्रेस की 70 वर्षों की कमाई है। उन्होंने देश और लोकतंत्र की रक्षा के लिये पहले महात्मा गांधी, इंदिरा गांधी और राजीव गांधी की शहादत पर गर्व जताते हुए कहा कि वर्ष 2014 के बाद देश में माहौल बदल गया है और साम्पद्रायिक विचारधारा के लोग प्रभाव में आने के बाद देश में भय का माहौल है, लिहाजा गांधी जी के विचारों की प्रासंगिकता आज भी बरकरार है, उनके विचारों को गांव गांव तक पहुंचाना होगा। श्री गहलोत ने कहा कि संघ के विचारधारा वाले लोगों को गांधी का नाम लेने का नैतिक अधिकार नहीं है। इसी विचारधारा ने उनकी हत्या की थी।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) और भाजपा के कथित राष्ट्रवाद और धर्म के नाम पर भ्रमित करने वाली राजनीति को बड़ी चुनौती बताते हुए श्री गहलोत ने कहा कि आजादी के बाद लड़ाई अब शुरु हुई है। यह विचारधारा की लड़ाई है। इससे मुकाबला करने के लिये कार्यकर्ताओं को तैयार रहना चाहिए।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की विभिन्न मामलों में गिरफ्तारी का जिक्र करते हुए श्री गहलोत ने कहा कि सत्ता में बैठे लोगों को सत्ता का अभिमान नहीं करना चाहिए क्योंकि लोकतंत्र में जनता सर्वाेपरि है जो जिसे चाहे सत्ता के शिखर पर बिठा सकती है तो उतार भी सकती है। उन्होंने कहा कि बदले की भावना से हमारे नेताओं को जेल में डाला जा रहा है और विभिन्न एजेंसियों के माध्यम से उन्हें प्रताड़ित किया जा रहा है।
श्री गहलोत ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हाल ही में अमरीकी यात्रा के दौरान एक सभा में ‘अबकी बार ट्रम्प सरकार’ के जुमले की आलोचना करते हुए कहा कि श्री मोदी ने यह कहकर हमारी विदेश नीति की धज्जियां उड़ा दीं हैं। यदि ट्रम्प सरकार दुबारा सत्ता में नहीं आती है तो इसका हमारी विदेश नीति पर गलत असर पड़ेगा। श्री मोदी ने हमारी 70 वर्ष की मेहनत पर पानी फेर दिया। उन्होंने श्री मोदी को अभिनेता बताते हुए कहा कि उनकी भाषणों में सच्चाई नहीं होती है।
सुनील
वार्ता