Friday, Apr 26 2024 | Time 10:31 Hrs(IST)
image
भारत


धार्मिक स्थलों में महिलाओं के प्रवेश का मामला वृहद पीठ के सुपुर्द

धार्मिक स्थलों में महिलाओं के प्रवेश का मामला वृहद पीठ के सुपुर्द

नई दिल्ली, 14 नवंबर (वार्ता) उच्चतम न्यायालय ने मंदिरों, मस्जिदों और अन्य धार्मिक स्थलों में महिलाओं के प्रवेश सहित विभिन्न संवैधानिक बिंदुओं को गुरुवार को वृहद पीठ के सुपुर्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई, न्यायमूर्ति रोहिंगटन फली नरीमन, न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर, न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति इंदु मल्होत्रा की संविधान पीठ ने 3:2 के बहुमत का फैसला सुनाया।

संविधान पीठ ने धार्मिक स्थलों में महिलाओं के प्रवेश जैसे व्यापक मसले को सात न्यायाधीशों की संविधान पीठ के सुपुर्द कर दिया। इस बीच पीठ ने कहा कि सबरीमाला मंदिर में सभी आयु वर्ग की महिलाओं के प्रवेश के संबंध में पूर्व का फैसला वृहद पीठ का अंतिम निर्णय आने तक बरकरार रहेगा।

इस मामले में न्यायमूर्ति नरीमन और न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ ने फैसले से असहमति जताई और अलग से अपना फैसला सुनाया।

बहुमत का फैसला सुनाते हुए न्यायमूर्ति गोगोई ने कहा कि परंपराएं धर्म के सर्वमान्य नियमों के मुताबिक हों और आगे सात न्यायाधीशों की संविधान पीठ इस बारे में अपना फैसला सुनाएगी।

महिलाओं के मंदिर, मस्जिद और अन्य धार्मिक स्थलों में प्रवेश के मुद्दे को वृहद पीठ को भेजने को लेकर न्यायाधीशों की राय बंटी नजर आई। न्यायमूर्ति नरीमन और न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ पुनर्विचार याचिकाओं को खारिज करने के पक्ष में थे। उनका मानना था कि शीर्ष अदालत का फैसला मानने के लिए सभी बाध्य हैं और इसका कोई विकल्प नहीं है। दोनों न्यायाधीशों की राय थी कि संवैधानिक मूल्यों के आधार पर फैसला दिया गया है और सरकार को इसके लिए उचित कदम उठाने चाहिए।

बहुमत के फैसले में न्यायमूर्ति गोगोई ने कहा कि इस केस का असर सिर्फ सबरीमला मंदिर ही नहीं, बल्कि मस्जिदों में मुस्लिम महिलाओं के प्रवेश और अग्यारी में पारसी महिलाओं के प्रवेश पर भी पड़ेगा।

संविधान पीठ ने अपने फैसले में कहा कि परंपराएं धर्म के सर्वोच्च सर्वमान्य नियमों के मुताबिक होनी चाहिए। अब बड़ी पीठ में जाने के बाद मुस्लिम महिलाओं के दरगाह-मस्जिदों में प्रवेश पर भी सुनवाई की जाएगी और ऐसी सभी तरह की पाबंदियों को दायरे में रखकर समग्र रूप से फैसला लिया जाएगा। इस बीच सबरीमला में सभी उम्र की महिलाओं के प्रवेश पर गत वर्ष का फैसला बरकरार रहेगा।

शीर्ष अदालत ने गत वर्ष 4:1 के बहुमत के फैसले से सबरीमला में सभी उम्र की महिलाओं को प्रवेश की अनुमति दी थी। उससे पहले मंदिर में 10 से 50 वर्ष की महिलाओं के प्रवेश पर पाबंदी थी।

सुरेश.श्रवण

वार्ता

More News
वनों में आग लगाने वालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के निर्देश

वनों में आग लगाने वालों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के निर्देश

26 Apr 2024 | 9:54 AM

नैनीताल,25 अप्रैल (वार्ता) उत्तराखंड के जंगलों में वनों में आग लगने की बढ़ती घटनाओं को देखते हुए आग लगाने वाले शरारती तत्वों के खिलाफ अभियोग (एफआईआर) पंजीकृत करने के निर्देश दिए गए हैं।

see more..
उच्चतम न्यायालय ईवीएम-वीवीपैट पर शुक्रवार को अपना फैसला सुनायेगा

उच्चतम न्यायालय ईवीएम-वीवीपैट पर शुक्रवार को अपना फैसला सुनायेगा

26 Apr 2024 | 8:37 AM

नयी दिल्ली, 25 अप्रैल (वार्ता) उच्चतम न्यायालय इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) के माध्यम से पडे़ मतों के साथ वोटर वेरिफिएबल पेपर ऑडिट (वीवीपैट) की पर्चियों की गिनती (मिलान)100 फीसदी तक बढ़ाने की याचिका पर शुक्रवार को अपना फैसला सुनाएगा।

see more..
कांग्रेस ने हरियाणा की आठ लोकसभा सीटों के लिए उम्मीदवार किये घोषित

कांग्रेस ने हरियाणा की आठ लोकसभा सीटों के लिए उम्मीदवार किये घोषित

26 Apr 2024 | 8:37 AM

नयी दिल्ली 25 अप्रैल (वार्ता) कांग्रेस ने हरियाणा से लोकसभा की आठ सीटों के लिए उम्मीदवारों के नाम की आज देर रात घोषणा की। कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने यह जानकारी देते है बताया कि पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडगे की अध्यक्षता में हुई कांग्रेस की केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में इन सभी उम्मीदवारों के नाम तय किए गए हैं।

see more..
लोस चुनाव के दूसरे चरण में 88 सीटों के लिये मतदान शुरू

लोस चुनाव के दूसरे चरण में 88 सीटों के लिये मतदान शुरू

26 Apr 2024 | 8:37 AM

नयी दिल्ली 26 अप्रैल (वार्ता) लोक सभा चुनाव के दूसरे चरण में 12 राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश की 88 सीटों पर शुक्रवार को सुबह सात बजे मतदान शुरू हो गया। शांतिपूर्ण एवं निष्पक्ष मतदान कराने के लिये सभी आवश्यक तैयारियां पहले ही पूरी कर ली गयी थीं।

see more..
image