कोल्हापुर, 20 मई (वार्ता) महाराष्ट्र में विपक्ष के नेता एवं राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के वरिष्ठ नेता अजित पवार ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नीत केंद्र सरकार का शुक्रवार को 2000 रुपये के नोटों को बंद करने का फैसला ढुलमुल था और इस तरह का फैसला पहले किसी सरकार ने नहीं लिया है।
श्री पवार ने शनिवार दोपहर शहर के न्यू वाशी नाका में एक नए होटल के उद्घाटन समारोह के बाद संवाददाताओं से कहा,“ भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) द्वारा लिए गए कल के विमुद्रीकरण के फैसले की कड़ी आलोचना की और कहा कि नोट बंदी के बाद, सरकार 2000 रुपये का नोट लाई थी और अब विमुद्रीकरण , हालांकि उन्होंने साफ किया कि अगर यह फैसला देश के हित में होगा तो हम इसका समर्थन करेंगे लेकिन जिस तरह से केंद्र सरकार फैसले ले रही है, अब तक किसी सरकार ने नहीं लिया।”
उन्होंने कहा,“ राज्य की राजनीति कहां जा रही है यह एक चिंतनीय विषय है और अब 'गद्दार और 50 खोके' शब्द राज्य के लोगों के साथ सहमत हैं और इसे सत्ताधारी राजनेताओं द्वारा आत्म-विश्लेषण करने की आवश्यकता है जबकि कुछ राजनेता बढ़ती महंगाई और बेरोजगारी से ध्यान हटाने के लिए जातियों के बीच तनाव पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं।”
उन्होंने कहा कि राज्य में शिंदे-फडणवीस सरकार में वित्तीय स्थिति पूरी तरह से खराब हो गई। इस सरकार ने महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार के दौरान के विकास कार्यों को रोक दिया। उन्होंने कहा कि कर्नाटक के लोगों ने दिखाया कि कोई भी 'ताम्रपत्र' लेकर नहीं आया।
जांगिड़,आशा
वार्ता