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एस्सेल इंफ़्राप्रोजेक्ट को हरियाणा सरकार ने दिया 225 करोड़ रुपए का ऋण : योगेंद्र यादव

एस्सेल इंफ़्राप्रोजेक्ट को हरियाणा सरकार ने दिया 225 करोड़ रुपए का ऋण : योगेंद्र यादव

चंडीगढ़, 28 सितंबर (वार्ता) स्वराज इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष योगेन्द्र यादव ने आज हरियाणा सरकार की ओर से कुंडली-मानेसर-पलवल (केएमपी) ई-एक्सप्रेसवे बनाने के काम को पूरा करने में नाकाम रही एस्सेल इंफ़्राप्रोजेक्ट को 225 करोड़ रुपए का ऋण दिए जाने के निर्णय की आलोचना करते हुए इसे फसलों के उचित दाम दिए जाने की मांग को लेकर संघर्ष कर रहे राज्य के किसानों का घोर अपमान करार दिया है।

श्री यादव ने यहां जारी बयान में फैसले को केंद्रीय सरकार की तर्ज पर कोरपोरेट घरानों की तिजोरियां भरने की ‘सोची समझी साजिश‘ बताया है।

उन्होंने अपने बयान में कहा है कि हरियाणा सरकार ने एक ऐसी कंपनी को 225 करोड़ रुपए का ‘बेलआउट पैकेज‘ देने का फैसला पारित कर दिया है, जिसने कुंडली-मानेसर-पलवल के निर्माण कार्य को वित्तीय संकट का हवाला देते हुए तय समय सीमा में पूरा करने में नाकाम रहते हुए प्रोजेक्ट से हाथ खड़े कर दिए हैं।

श्री यादव ने कहा कि आश्चर्य की बात यह है कि हरियाणा राज्य औद्योगिक विकास निगम ने इस मामले में एस्सेल इंफ़्राप्रोजेक्ट के इस डिफाल्ट पर बिना कोई सवाल उठाए पिछले महीने ‘गुपचुप तरीके‘ से कम्पनी को घाटे से उबारने के लिए 225 करोड़ रुपए ऋण देना मंजूर भी कर लिया।

श्री यादव ने सरकार के इस फैसले का विरोध करते हुए कहा है कि इससे सरकार का किसान विरोधी चेहरा एक बार फिर उजागर हो गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि सूखे के कारण बर्बाद हुई फसलों के बीमा मुआवजे की मांग कर रहे किसानों की ओर से मनोहर लाल खट्टर सरकार आंखें मूंदे बैठी है, बाजरे की फसल को एमएसपी पर खरीदने से बचने के लिए हरियाणा सरकार ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन और परती एकड़ ख़रीद सीमा तय करने जैसी अन्य शर्तों के रोड़े अटका रही है लेकिन कोरपोरेट घरानों के नुकसान को बचाने के लिए आनन-फानन में खजाने के दरवाजे खोल दिए हैं।

स्वराज इंडिया के हरियाणा अध्यक्ष राजीव गोदारा ने इसे चुनावी चंदा लेने का परदे में छिपा खेल बताया है। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार का कारपोरेट घरानों के प्रति मोह जगजाहिर है। भाजपा इन घरानों से चुनावी चंदा लेती है और बदले में इन पर राजकीय कोष से ऋण देती है।

महेश

वार्ता

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