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शिशु मंदिरों के टीईटी उत्तीर्ण आचार्य स्थायी होंगे

देहरादून, 13 नवम्बर (वार्ता) उत्तराखंड में मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत की अध्यक्षता में बुधवार को सचिवलाय में हुई मंत्रिमंडल की बैठक में शिशु मंदिरों में कार्यरत शिक्षक योग्यता परीक्षा (टीईटी) उत्तीर्ण शिक्षा आचार्यों को नियमित करने सहित 27 बिंदुओं पर निर्णय लिया गया।
सरकार के प्रवक्ता कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक ने बताया कि मंत्रिमंडल ने उच्च शिक्षा सेवा नियमावली में संशोधन किया है। सरकार ने शिशु मंदिरों के शिक्षा आचार्य को अनुदेशक में समायोजन किये जाने के अलावा, 31 मार्च, 2019 तक जिन शिक्षा आचार्यो ने टी.ई.टी किया था, उनको नियमित किये जाने का भी फैसला किया जाएगा। कुलसचिव, उप कुलसचिव, सहायक कुलसचिव की नियुक्ति केन्द्रीयत सेवा नियमावली के तहत की जायेगी। जबकि भारतीय वन अधिनियम 1927 में संशोधन के अंतर्गत उत्तराखण्ड राज्य ने उपसमिति का गठन किया है। इस समिति में विभागीय मंत्री हरक सिंह रावत, अध्यक्ष, कृषि मंत्री सुबोध उनियाल, शिक्षा मंत्री अरविन्द पाण्डेय सदस्य होंगे। यह समिति अपनी रिपोर्ट 15 दिनों के भीतर प्रस्तुत करेंगी।
उन्होंने बताया कि मंत्रिमंडल ने उपनल आउटसोर्सिंग, कार्मिक के यात्रा भत्ता में जी.एस.टी लागू हो जाने के कारण सर्विस चार्ज नहीं लिये जाने और वैट तथा केन्द्रीय ब्रिकी कर सेस जमा करने के लिये अलग खाता, नया शीर्षक सृजित करने का निर्णय लिया है। इसके साथ ही, राज्य में आपदा नियंत्रण हेतु आपदा संवेदनशील भवनों के लिये 03 करोड़ 73 लाख का बजट आवंटन, उच्च भूकंप न्यूनीकरण कार्यक्रम के अंतर्गत एकीकृत सुरक्षा कार्यक्रम बनाया जाएगा।
राज्य में सामुदायिक रेडियो स्टेशन की अनुदान राशि 5 लाख से बढ़ाकर 10 लाख की गई है। मंत्रिमंडल ने आयुष चिकित्सक हेतु चिकित्सा निषेध भत्ता 04 जनवरी 2017 से लागू करने फैसला किया है। राज्य नीति के अनुसार, स्टॉर्ट अप नीति में पंजीकरण अनिवार्य होगा एवं राज्य के नियमों का पालन करना होगा। राज्य की स्टोन क्रेशर का हॉट मिक्स प्लांट नीति का निर्माण करने के साथ ही स्थापना शूल्क में बढ़ोत्तरी का फैसला किया गया है।
कैबिनेट ने उत्तराखण्ड चिकित्सा सेवा चयन बोर्ड पिछले चार वर्ष से संबंधित प्रतिवेदन विधानसभा पटल पर रखने और उत्तराखण्ड कृषि उत्पादन मण्डी अधिनियम 2019 में संशोधन, रिवाल्व फंड की जगह बोर्ड एवं मण्डियों से 10 प्रतिशत अंशदान जमा कराने , उत्तराखण्ड जैविक कृषि अधिनियम विधेयक स्वीकृत करने के साथ, उत्तराखण्ड नर्सरी एक्ट, फल पौधशाला विधेयक के तहत निरीक्षण जांच एवं प्रोत्साहन की व्यवस्था का भी फैसला किया है।
उन्होंने कहा कि सुरक्षित भवन तकनीक, राज्य मिस्त्री मानदेय भवन निर्माण हेतु 350 से 500 रूपये किया गया है। होम स्टे योजना ऋण को स्टाम्प मुक्त करने के लिए प्रतिपूर्ति व्यवस्था की गई है। कारखाना नियमावली 1950 में संशोधन कर दिया गया है। अब प्रति वर्ष 10 प्रतिशत वृद्धि के स्थान पर 5 वर्ष बाद 5 प्रतिशत की वृद्धि की जाएगी। प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के गैर तकनीकि निसंवर्गीय पद ग्राम विकास विभाग में 604 पदों का समायोजन होगा, जबकि प्रधानमंत्री आवास योजना में कृषि भूमि को बदलने की नियमावली हेतु मुख्य सचिव की अध्यक्षता मे कमेटी रिपोर्ट देगी।
इसके अतिरिक्त, विश्व बैंक सहायता ऋण प्रबन्धन हेतु साफ्टवेयर तैयार करने और उत्तर प्रदेश जंमीदारी विनाश अधिनियम में संशोधन के तहत कृषि, बागवानी, वृक्षारोपण, मत्स्य पालन में 30 वर्षों के लिए पट्टा दिये जाने को स्वीकृति प्रदान की गई है। बैठक में मुख्यमंत्री सहित सभी मंत्रियों ने बिच्छू घास (कण्डाली) से बनी जैकेट पहनी हुई थीं।
सं राम
वार्ता
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