राज्य » अन्य राज्यPosted at: Jan 11 2021 7:44PM डीएनए जांच के मामले विधायक नेगी को मिली तीन दिन की मोहलतनैनीताल, 11 जनवरी (वार्ता) यौन शोषण के आरोप में फंसे भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक महेश नेगी डीएनए जांच के खिलाफ उच्च न्यायालय पहुँच गये और उन्होंने डीएनए जांच की वैधता को उच्च न्यायालय में चुनौती दी है। न्यायालय ने उन्हें तीन दिन की मोहलत देते हुए इस प्रकरण की अंतिम सुनवाई 13 जनवरी को करने का निर्णय लिया है। द्वाराहाट के भाजपा विधायक महेश नेगी के डीएनए जांच के लिये नमूना देने के लिये देहरादून की अदालत की ओर से हाल ही में निर्देश जारी किये गये थे। निचली अदालत के निर्णय की वैधता को महेश नेगी की ओर से सोमवार को उच्च न्यायालय में चुनौती दी गयी है।इस मामले की सुनवाई न्यायाधीश नारायण सिंह धनिक की पीठ में हुई। याचिकाकर्ता के अधिवक्ता वीवीएस नेगी ने बताया कि अदालत ने इस मामले में अंतिम सुनवाई के लिये 13 जनवरी मुकर्र की है और तब तक के लिये निचली अदालत के फैसले पर रोक लगा दी है। उल्लेखनीय है कि विधायक नेगी पर देहरादून निवासी प्रीति बिष्ट की ओर से यौन शोषण का आरोप लगाया गया है। पीड़िता की ओर से इस मामले में विधायक एवं उनकी पत्नी रीता नेगी के खिलाफ देहरादून के नेहरू कालोनी थाने में मामला दर्ज कराया गया है। पीड़िता की ओर से कहा गया कि विधायक ने उसका कई बार यौन शोषण किया है और वह विधायक के बच्ची की मां है। पीड़िता ने इस बात की पुष्टि के लिये दोनों का डीएनए जांच कराने की मांग की है। देहरादून की अदालत ने इसी मामले में विधायक के डीएनए जांच के निर्देश दिये हैं तथा विधायक को डीएनए जांच के लिये नमूना उपलब्ध कराने के निर्देश दिये हैं। रवीन्द्र, उप्रेतीवार्ता