राज्य » पंजाब / हरियाणा / हिमाचलPosted at: Aug 1 2019 7:09PM एनजीटी द्वारा काली बेईं में प्रदूषित पानी नहीं डालने के आदेशजालंधर, 01 अगस्त (वार्ता) न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) प्रीतम पाल के नेतृत्व में राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण (एनजीटी) द्वारा गठित एक विशेष निगरानी समिति ने समयबद्ध तरीके से नदी प्रदूषण के खतरे को प्रभावी ढंग से जांचने के लिए गुरुवार को जालंधर और कपूरथला प्रशासन के अधिकारियों से पवित्र काली में प्रदूषित पानी का शून्य निर्वहन सुनिश्चित करने को कहा।स्थानीय सर्किट हाउस में यहां एक बैठक में पंजाब के पूर्व मुख्य सचिव एस सी अग्रवाल, प्रसिद्ध पर्यावरणविद् संत बाबा बलबीर सिंह सीचेवाल और श्री बाबू राम सहित सदस्यों के साथ समिति प्रमुख ने कहा कि सभी अधिकारियों को काली बेईं में अनुपचारित पानी के शून्य निर्वहन को सुनिश्चित करना चाहिए।समिति ने कहा कि जहां से अनुपचारित पानी को काला संघिया नाले में डाला गया है, उन नालियों को बंद करने के अलावा दोनों जिलों के प्रशासन को यह भी सुनिश्चित करना चाहिए कि उपचारित पानी का उपयोग सिंचाई के प्रयोजनों के लिए किया गया है। समिति ने यह भी कहा कि अधिकाधिक किसानों को इस पानी का उपयोग कृषि उद्देश्यों के लिए करने के लिए प्रोत्साहित किया जाना चाहिए।इसी तरह, समिति ने चार और एक एमएलडी क्षमता वाले कपूरथला में दो नए सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) के निर्माण पर काम में तेजी लाने के लिए भी कहा। इसने अधिकारियों से यह भी कहा कि एसटीपी के क्लोरिनेशन को जोड़ने वाले मौजूदा एसटीपी के पाइपों की समय पर डी-सिल्टिंग और साफ-सफाई सुनिश्चित करें और इसे नियमित अंतराल पर करने की जरूरत है। समिति ने यह भी कहा कि पूरे काम को समयबद्ध तरीके से निष्पादित करने की आवश्यकता है। इस अवसर पर उपायुक्त जालंधर कुलवंत सिंह, उपायुक्त कपूरथला डीपीएस खरबंदा, आयुक्त नगर निगम दीपर्वा लकड़ा, संयुक्त आयुक्त नगर निगम आशिका जैन, सहायक आयुक्त वरजीत वालिया और अन्य भी उपस्थित थे। ठाकुर.श्रवण वार्ता