राज्य » पंजाब / हरियाणा / हिमाचलPosted at: Jul 19 2020 7:03PM सीएलसी जारी करने के एवज में स्कूल ने मांगी अप्रैल से जुलाई तक की फीसभिवानी, 19 जुलाई (वार्ता) हरियाणा के भिवानी में एक स्कूल के स्कूल लीविंग सर्टीफिकेट की एवज में अप्रैल से जुलाई तक की फीस मांगने का मामला सामने आया है। गांव लेघां भानान के निवासी दो अभिभावकों ने इसकी शिकायत सीएम विण्डो के माध्यम से प्रदेश के शिक्षा मंत्री व मुख्यमंत्री से की है। विष्णु ने बताया कि उन्होंने भतीजे विनीत, जो आसलवास दुबिया स्थित सीनियर सेकेंडरी स्कूल में कक्षा दसवीं में पढ़ता था, का स्कूल लीविंग सर्टीफिकेट मांगा तो स्कूल संचालक ने अप्रैल से लेकर जुलाई माह की टयूशन फीस जमा करवाने के बाद एसएलसी देने की बात कही। विष्णु के अनुसार उनके भाई की मौत हो चुकी है और उनकी आर्थिक हालत ऐसी नहीं है कि वह लगभग की पढ़ाई पर 55 हजार रुपये वार्षिक फीस भर सकें इसलिए वह स्कूल बदलवाना चाहते थे। इसी तरह दूसरे अभिभावक सुरेंद्र ने बताया कि उनका बेटा शिवेश भी कक्षा दसवीं में इसी स्कूल से उत्तीर्ण हुआ है और उन्हें स्कूल लीविंग सर्टीफिकेट नहीं दिया जा रहा। इस बारे में संपर्क करने पर स्कूल के संचालक ने कहा कि जिला शिक्षा अधिकारी के आदेश हैं कि अगर 31 मार्च से पहले अभिभावक एसएलसी के लिए आवेदन नहीं करते हैं तो अप्रैल से फीस शुरू हो जाएगी। उन्होंने कहा कि वे तो सरकार के नियमों की पालना कर रहे हैं। दूसरी तरफ इस बारे में जिला शिक्षा अधिकारी अजीत सिंह ने माना कि स्कूल संचालक की तरफ से फीस मांगना अनुचित है क्योंकि रिजल्ट ही दो-तीन दिन पहले आया है। उन्होंने कहा कि ट्यूशन फीस लेना पूरी तरह से गलत है और अगर अभिभावक उनको शिकायत करते हैं तो इस बारे में आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।सं महेश विक्रमवार्ता