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आप सदस्यों ने एससी/एसटी आरक्षण के मुद्दे पर किया विधानसभा का बहिगर्मन

चंडीगढ़, 04 मार्च (वार्ता)दलित आरक्षण के मुद्दे पर आम आदमी पार्टी के सदस्यों ने वीरवार को विधानसभा का बहिगर्मन किया ।
दलितों से संबंधित संविधान के 85वें संशोधन कानून पंजाब सरकार द्वारा लागू नहीं किये जाने के विरोध में आप के सदस्य नारेबाजी करते सदन से चले गए।
बहिगर्मन के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए प्रतिपक्ष के नेता हरपाल चीमा ने कहा कि प्रदेश सरकार ने विधानसभा में 85वां संशोधन लागू करने के लिए प्रस्ताव पारित किया था। प्रस्ताव के अनुसार राज्य के दलितों को पदोन्नति में भी आरक्षण दिया जाना था लेकिन उस संशोधन कानून को कैप्टन सरकार ने राज्य में लागू नहीं किया। सरकार ने एक अधिसूचना जारी कर इन संशोधन कानूनों को लागू करने का आदेश दिया था,लेकिन सरकार के कार्मिक विभाग ने एक अलग अधिसूचना जारी कर 85वें संशोधन को राज्य में लागू करने से रोक दिया।
उन्होंने कहा कि पंजाब में दलितों की आबादी लगभग 37 प्रतिशत है लेकिन आउटसोर्सिंग और कॉन्ट्रैक्ट वाली नौकरियों में आरक्षण लागू नहीं होता है। हमने इस संबंध में भी सदन में मामला उठाया है।
आप नेता ने कहा कि हम लगातार कह रहे हैं कि कैप्टन अमरिंदर सिंह सरकार चलाने में असमर्थ हैं। इससे यह फिर से स्पष्ट हो गया है कि उन्होंने राज्य चलाने का काम 'बाबू' लोगों पर छोड़ दिया है। उन्हें अपनी जिम्मेदारी का अहसास नहीं है। उनके पास इतने अधिकार होने के बावजूद, उनके अपने अधिकारी उनके द्वारा भेजी गई अधिसूचना को खारिज कर रहे हैं।
आप नेताओं ने कहा कि दरअसल कैप्टन सिंह और उनकी सरकार दलित विरोधी है। उन्हें दलितों की कोई परवाह नहीं है। उनकी सरकार ने पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति फंड अभी तक जारी नहीं की है, जिसके कारण हजारों दलित छात्रों का जीवन खतरे में है। उनके मंत्री ने इन बच्चों को पैसा नहीं दे सके फिर भी उन्होंने उन पर कोई कार्रवाई नहीं की। गरीबों को पांच मर्ला प्लॉट आवंटित करने की बात हो या शगुन स्कीम लागू करने ,हर मामले में सरकार फेल रही है। अब वे 85वें संशोधन कानून को राज्य में जानबूझ कर लागू नहीं कर रहे हैं, क्योंकि कैप्टन सिंह नहीं चाहते कि राज्य के दलितों की तरक्की हो।
शर्मा
वार्ता
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