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शामली में चार संदिग्ध विदेशी एवं तीन मदरसा संचालक गिरफ्तार

शामली, 29 जुलाई (वार्ता) उत्तर प्रदेश की शामली पुलिस ने शामली जिले के थानाभवन क्षेत्र में मदरसों पर छापा मारकर चार संदिग्ध विदेशियों और तीन मदरसा संचालकों समेत 07 लोगों को गिरफ्तार किया है।
पुलिस अधीक्षक अजय कुमार ने सोमवार को यहां यह जानकारी दी। उन्होंने बताया थानाभवन पुलिस और एलआईयू की की टीम ने सूचना के आधार संयुक्त रुप से पर कस्बा जलालाबाद में खुशनुमा कालोनी के एक मकान पर छापामाररकर अब्दुल मजीद(रोहिंग्या) परिवर्तित नाम नौमान अली को गिरफ्तार किया गया। पूछतांछ पर अब्दुल मजीद ने बताया कि उनके दो साथी मदरसा मिफ्ताउल-उलूम जलालाबाद में शिक्षा ग्रहण कर रहे है। जहां से परिवर्तित नाम मौहम्मद रिजवान खान, परिवर्तित नाम मौहम्मद फुरकान हुसैन को गिरफ्तार किया गया।
उन्होंने बताया कि गिरफ्तार अब्दुल मजीद ने बताया कि वह म्यामार देश का मूल निवासी है, वहाॅ से वर्ष 2001 में बगैर जायज दस्तावेजों के अपने पिता और एक भाई के साथ बांग्लादेश के नाकूरा के रास्ते से बिलोनिया बार्डर पार कर पश्चिम बंगाल कलकत्ता में आया था। वहाॅ पर कुछ दिन रहने के बाद वह उत्तर प्रदेश में आ गया था। वर्ष 2004 से शामली, कर्नाटक, उज्जैन में रहा था और शामली में फर्जी सूचनाओं और दस्तावेजों के आधार पर पैन कार्ड, आधार कार्ड बनवा लिये, जिनके आधार पर विभिन्न बैंकों के जलालाबाद शाखा में खाते खुलवाये और कस्बा जलालाबाद में जून 2016 से मई 2019 तक वासिफ अमीन द्वारा संचालित मदरसा दारूल उलूम जलालाबाद में पढाया था, उसके बाद कुछ दिन से कारी असरफ के द्वारा संचालित मदरसा जामिया असरफिया में रहकर पढा रहा था। जिनको म्यांमार (बर्मा) का नागरिक होने की जानकारी दी थी। जिनके द्वारा नियमानुसार कोई सूचना विदेशी पंजीकरण अधिकारी को नहीं दी।
पुलिस अधीक्षक ने बताया कि इसी प्रकार गिरफ्तार तीन भाईयों मौ0 रिजवान खान,नौमान अली एवं फुरकान हुसैन ने बताया कि उनके पास म्यांमार (रंगून) के जारी पासपोर्ट है, लेकिन वीजा की अवधि काफी पहले खत्म हो चुकी है। वीजा एक्सपायर होने के बाद शराणार्थी दर्जा पाने के लिए अपने-अपने नाम बदलकर संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी उच्चायुक्त के दिल्ली स्थित कार्यालय में आवेदन कर असाइलम सीकर का प्रमाण पत्र भी प्राप्त कर लिया था। मौ0 रिजवान खान एवं फुरकान हुसैन मदरसा मिफ्ता उल उलूम जलालाबाद में मदरसे के मोहतीम (प्रधानाचार्य) मौलाना हफीयुल्ला को दाखिले के समय अपने-अपने संयुक्त राष्ट्र शराणार्थी उच्चायुक्त से जारी दस्तावेजों की छायाप्रति दी थी और मोहेतमीम मौलाना हफीयुल्ला द्वारा मदरसे में विदेशियों का दाखिला लेने एवं हास्टल में निवास करने के सम्बन्ध में कोई सूचना नियमानुसार पुलिस को नहीं दी गयी थी।
गौरतलब है कि गिरफ्तार अब्दुल मजीद द्वारा म्यामार नागरिक होते हुए अपने आपको भारतीय नागरिक के रूप मे दर्शाते हुए गलत तथ्यों के आधार पर धोखा देते हुए भारतीय आधार कार्ड एवं भारतीय बैकों की शाखा में भारतीय बनकर खाता खुलवाना और अपनी विदेशी पहचान को छुपाना तथा बिना यात्रा दस्तावेजो के छुपकर भारत में प्रवेश कर भारत में रहना नाम परिवर्तित नाम मौहम्मद रिजवान खान, परिवर्तित नाम मौहम्मद फुरकान हुसैन,परिवर्तित नाम नौमान अली द्वारा अपने-अपने पासपोर्ट एवं भारतीय वीजा की अवधि समाप्त होने और अपने असली बहमीज नामों को छुपाकर यहां रहने के आरोप में गिरफ्तार किया गया।
इस सिलसिले में थानाभवन थाने पर अब्दुल मजीद, नौमान अली, मौहम्मद रिजवान खान, फुरकान हुसैन, मोहतमीम कारी अशरफ एवं मौलाना हफीयुल्ला पंजीकृत किया गया और अब्दुल मजीद के बयान/दस्तावेज के आधार पर वासिफ अमीन मौहतमीम मदरसा दारूल उलूम जलालाबाद शामली को भी गिरफ्तार कर विधिक कार्रवाई की जा रही है।
पकड़े गये आरोपियों के पास से तीन पासपोर्ट, तीन संयुक्त राष्ट्र शरणार्थी नई दिल्ली निर्गत असाइलम सीकर के रूप में पंजीकरण प्रमाण पत्र , विदेशी मुद्रा म्यांमार 04 नोट, दो भारतीय आधार कार्ड , दो बैंक पासबुक, एक भारतीय पैन कार्ड
दो एटीएम कार्ड, नगदी 8030 रुपये, 04 मोबाइल फोन बरामद किए। गिरफ्तार आरोपियों को जेल भेज दिया गया है।
सं त्यागी
वार्ता
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